दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सोमवार को कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने राष्ट्रीय राजधानी में लोकसभा चुनाव के लिए 'आप' के साथ गठबंधन करने से इनकार कर दिया है। सीएम केजरीवाल के बयान के बाद दिल्ली में आम आदमी पार्टी (आप) और कांग्रेस के बीच गठबंधन पर सस्पेंस खत्म हो गया है।
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, हवाई अड्डे पर पत्रकारों से बात करते हुए, आप नेता ने कहा कि वह हाल ही में गांधी से मिले थे और कांग्रेस नेता ने "आप के साथ हाथ मिलाने" से इनकार कर दिया। कांग्रेस की दिल्ली इकाई की अध्यक्ष शीला दीक्षित से गठबंधन के लिए संपर्क नहीं किया पूछे जाने पर, मुख्यमंत्री ने कहा, “हम राहुल गांधी से मिले हैं। दीक्षित महत्वपूर्ण नेता नहीं हैं।”
बता दें कि रविवार को दिल्ली की पूर्व सीएम और प्रदेश कांग्रेस कमिटी अध्यक्ष शीला दीक्षित ने कहा था कि सोमवार तक आप-कांग्रेस गठबंधन पर तस्वीर साफ हो जाएगी। उन्होंने कहा था कि इस बारे में आधिकारिक बयान जारी किया जाएगा।
कांग्रेस द्वारा कोई आधिकारिक बयान जारी होने से पहले ही केजरीवाल ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने दिल्ली में लोकसभा चुनावों के लिए आप से गठबंधन करने से इनकार कर दिया है।
गौरतलब है कि केजरीवाल कांग्रेस से भाजपा को सत्ता से दूर रखने के लिए लोकसभा चुनाव में गठबंधन करने का आग्रह कर रहे हैं। केजरीवाल ने दिल्ली के साथ पंजाब और हरियाणा में भी कांग्रेस को गठबंधन का ऑफर दिया है।
कांग्रेस में एक राय नहीं
पार्टी सूत्रों ने कहा था कि दीक्षित और उनके तीन कार्यकारी अध्यक्षों के साथ गठबंधन के मुद्दे पर कांग्रेस की दिल्ली इकाई के नेता विभाजित थे। पी सी चाको जहां आप से गठबंधन को लेकर जोर दे रहे थे तो शीला दीक्षित इसके खिलाफ थीं। पहले अजय माकन भी गठबंधन के खिलाफ थे, लेकिन बाद में इन्होंने इसका समर्थन किया था।
इसलिए गठबंधन की संभावना कम
पार्टी के एक शीर्ष सूत्र ने हाल ही में कहा था कि दिल्ली में इसके दीर्घकालिक नतीजों को देखते हुए गठबंधन की संभावना "पतली" थी।
सूत्र ने कहा, "सबसे बड़ा सवाल यह है कि कांग्रेस 2020 के बाद विधानसभा चुनाव में आप का सामना कैसे करेगी। इसके अलावा, पार्टी राजनीतिक रूप से बहुत लाभ नहीं उठाती है क्योंकि केजरीवाल द्वारा केवल 2-3 सीटों की पेशकश की जा रही है।"
अब केजरीवाल के बयान के बाद कांग्रेस और आप के बीच गठबंधन की उम्मीद खत्म हो गई है।