लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखकर आग्रह किया है कि वंचित वर्गों के छात्रों को समय पर पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति प्रदान की जाए और उनके छात्रावासों की ‘दयनीय’ हालात में सुधार किया जाए।
उन्होंने यह भी कहा कि ये मुद्दे हाशिए पर रहने वाले समुदायों से आने वाले 90 प्रतिशत छात्रों के लिए शिक्षा के अवसरों में बाधा पैदा करते हैं।
प्रधानमंत्री को लिखे 10 जून की तिथि वाले पत्र में राहुल गांधी ने कहा, ‘मैं आपसे दो महत्वपूर्ण मुद्दों को हल करने का अनुरोध करता हूं जो हाशिए पर रहने वाले समुदायों से आने वाले 90 प्रतिशत छात्रों के लिए शिक्षा के अवसरों में बाधा डालते हैं।’
उन्होंने कहा, ‘सबसे पहले तो दलित, एसटी, ईबीसी, ओबीसी और अल्पसंख्यक समुदायों के छात्रों के लिए आवासीय छात्रावासों की स्थिति दयनीय है। हाल ही में बिहार के दरभंगा में आंबेडकर छात्रावास के दौरे के दौरान, छात्रों ने एकल कमरे के बारे में शिकायत की, जिसमें 6-7 छात्रों को रहने के लिए मजबूर किया गया था, अस्वच्छ शौचालय, असुरक्षित पेयजल, मेस सुविधाओं की कमी और पुस्तकालयों या इंटरनेट तक की उपलब्धता नहीं थी।’
उन्होंने कहा कि हाशिए पर रहने वाले समुदायों के छात्रों के लिए पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्तियों में देरी हो रही हैं और इसमें विफलताएं भी हैं।
कांग्रेस नेता ने कहा, ‘उदाहरण के लिए, बिहार में, छात्रवृत्ति पोर्टल तीन वर्षों तक गैर-कार्यात्मक था, किसी भी छात्र को 2021-22 में छात्रवृत्ति नहीं मिली। इसके बाद, छात्रवृत्ति प्राप्त करने वाले दलित छात्रों की संख्या वित्त वर्ष 2023 में 1.36 लाख से घटकर वित्त वर्ष 2024 में 69 हजार हो गई। छात्र आगे शिकायत करते हैं कि छात्रवृत्ति राशि अपमानजनक रूप से कम है।’
उन्होंने कहा, ‘हालाँकि मैंने बिहार का उदाहरण दिया है, लेकिन ये विफलताएँ पूरे देश में व्यापक स्तर पर हैं। मैं सरकार से इन विफलताओं को दूर करने के लिए तुरंत दो कार्रवाई करने का आग्रह करता हूं।’
राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री से आग्रह किया कि दलित, एसटी, ईबीसी, ओबीसी और अल्पसंख्यक समुदायों के छात्रों के लिए अच्छे बुनियादी ढांचे, स्वच्छता, भोजन और शैक्षणिक सुविधाओं को सुनिश्चित करने के लिए प्रत्येक छात्रावास का ऑडिट कराएं और कमियों को दूर करने के लिए पर्याप्त धन आवंटित करें। उन्होंने यह भी कहा, ‘पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति समय पर वितरित करें, छात्रवृत्ति की राशि बढ़ाएं और राज्य सरकारों के साथ मिलकर काम करके निष्पादन में सुधार करें।’
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा, ‘मुझे यकीन है कि आप इस बात से सहमत होंगे कि भारत तब तक प्रगति नहीं कर सकता जब तक कि हाशिए पर रहने वाले समुदायों के युवा प्रगति नहीं करते। मैं आपकी सकारात्मक प्रतिक्रिया की प्रतीक्षा में हूं।’