बसपा प्रमुख मायावती ने बुधवार को कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार को कुछ योजनाएं शुरू करनी चाहिए, जिससे गरीबी, बेरोजगारी और महंगाई से पीड़ित लोगों को राहत मिल सके।
उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि इन योजनाओं की घोषणा मंगलवार से शुरू हो रहे राज्य विधानसभा के शीतकालीन सत्र में की जा सकती है।
उन्होंने कहा, ''उत्तर प्रदेश में गरीबी, बेरोजगारी और महंगाई से त्रस्त जनता के हित में सरकार को यहां चल रहे विधानसभा सत्र में कुछ योजनाएं भी शुरू करनी चाहिए, जिससे उन्हें कुछ राहत मिल सके।''
403 सदस्यीय विधानसभा में बसपा का केवल एक सदस्य है।
इससे पहले बसपा प्रमुख मायावती ने रविवार को आरोप लगाया था कि कांग्रेस नहीं चाहती कि देश में पिछड़े वर्ग आगे बढ़ें और उन्होंने मंडल आयोग की रिपोर्ट को लागू नहीं करने के लिए पिछली कांग्रेस सरकारों की आलोचना की, जिसमें सार्वजनिक रोजगार और उच्च शिक्षा में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के लिए 27 प्रतिशत आरक्षण की सिफारिश की गई थी।
मायावती ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, "कांग्रेस ने मंडल आयोग की रिपोर्ट को वर्षों तक लटकाए रखा। कांग्रेस नहीं चाहती थी कि पिछड़े वर्ग को पदोन्नति मिले। यह कांग्रेस का असली चाल, चरित्र और चेहरा है और अन्य पार्टियां उनके नक्शेकदम पर चल रही हैं।"