राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव रविवार को तीन साल बाद पटना आए हैं। उन्हें पटना एयरपोर्ट पर लेने के लिए उनके बड़े बेटे तेज प्रताप यादव भी पहुंचे थे। लालू के साथ आये तेज प्रताप को राबड़ी आवास में प्रवेश की इजाजत नहीं दी गई। तेज प्रताप राबड़ी आवास के गेट से लौट गये और ऐलान कर दिया कि जब तक प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह को पार्टी से नहीं निकालेंगे, तब तक हमारा राजद से कोई मतलब नहीं है। मैं जल्द ही बड़ा फैसला लेने जा रहा हूं।
तेज प्रताप ने यहां तक कह दिया है कि राजद में कुछ लफंगे भर गए हैं, जो उन्हें पार्टी में पीछे कर रहे हैं। तेज प्रताप यादव ने जगदानंद सिंह पर आरोप लगाया कि पटना एयरपोर्ट पर उन्होंने हमें धक्का देकर बाहर जाने को कहा। राजद, छात्र व युवा राजद के गुंडों के द्वारा भी हमें धकेला गया। जगदानंद सिंह आरएसएस के आदमी हैं और हम एक बहुत बड़ा कदम उठाने जा रहे हैं। तेज प्रताप ने कहका कि हमें राजद से कोई लेनादेना नहीं है, कोई मतलब नहीं है। आज खुशी का इतना बड़ा मौका था, सब को एक होना था लेकिन ऐसी परिस्थिति में भी हमें बेइज्ज़त किया गया।
लालू प्रसाद के साथ राबड़ी देवी और मीसा भारती भी थीं। तेज प्रताप यादव भी उनके साथ थे, लेकिन नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव व्यवस्था देखने के लिए चंद मिनट पहले ही बाहर निकल गये थे। हालांकि, जगदानंद साथ रहे। भीड़ के कारण लालू प्रसाद को एयरपोर्ट के गेट से सुरक्षा घेरा में उनके वाहन तक ले जाने में जवानों को इतनी मश्क्कत करनी पड़ी कि चंद कदमों की दूरी तय करने में 15 मिनट लग गये। उनके वाहन पर फूलों की बारिश हो रही थी। लगभग आधा घंटा पहले से एयरपोर्ट का आसमान -लालू जिन्दाबाद के नारों से गूंज रहा था। सबकी निगाहें उस नोटिस बोर्ड पर थी जिसपर विमान के आने जाने की सूचना दिखाई जा रही थी, और अचानक ...आ गये की आवाज के साथ ही गगनभेदी नारे गूंजने लगे। लालू प्रसाद के पटना आने का कार्यक्रम अचानक बना।