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गोरखपुर और फूलपुर उपचुनाव में BJP को हराने सपा को मिला बसपा का साथ

उत्तर प्रदेश में होने वाले उप-चुनावों से पहले सियासी अटकलबाजियां और जोड़-तोड़ शुरू हो गया है। सियासी...
गोरखपुर और फूलपुर उपचुनाव में BJP को हराने सपा को मिला बसपा का साथ

उत्तर प्रदेश में होने वाले उप-चुनावों से पहले सियासी अटकलबाजियां और जोड़-तोड़ शुरू हो गया है। सियासी गलियारों में एक बड़े राजनैतिक उलटफेर के संकेत मिल रहे हैं।  गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा उपचुनाव में बहुजन समाज पार्टी ने अपनी विरोधी समाजवादी पार्टी को समर्थन देने का फैसला किया है। समाजवादी पार्टी के उम्मीदवार प्रवीण निषाद ने बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सहित अन्य विपक्षी पार्टियों के समर्थन का दावा किया है। बसपा के गोरखपुर प्रभारी घनश्याम चंद्र खरवार ने इसकी पुष्टि करते हुए औपचारिक ऐलान भी कर दिया है। 


मीडिया रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से बताया जा रहा था कि शनिवार को मायावती के घर एक बैठक हुई है जिसमें समर्थन पर चर्चा हुई थी।

हालांकि बसपा के द्वारा भाजपा को समर्थन दिए जाने के सवाल पर समाजवादी पार्टी के नेता सुनील सिंह यादव का कहना है, “मैं इतना जानता हूं कि बसपा उपचुनाव नहीं लड़ेगी। दोनों जगहों पर जहां उपचुनाव होने वाले हैं, समाजवादी पार्टी बीजेपी को कड़ी टक्कर देने वाली है।

इस नए समीकरण को आने वाले लोकसभा चुनावों के पहले एक महागठबंधन के रूप में भी देखा जा रहा है। गोरखपुर और फूलपुर में 11 मार्च को मतदान होना है और इसके परिणाम 14 मार्च को आएंगे।

गौरतलब है कि गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा सीटें योगी आदित्यनाथ और केशव प्रसाद मौर्य के विधानसभा सदस्य बनने की वजह से खाली हुई हैं। फिलहाल माया और अखिलेश के सामने सबसे बड़ी चुनौती भाजपा है। फिलहाल यही कहा जा सकता है कि राजनीति में एक दुश्मन को हराने के लिए दो दुश्मन दोस्त बन जाए तो कोई हैरानी नहीं होनी चाहिए।

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