जब ‘लाट साहब’ मोहरे हों | आलोक मेहता
महामहिम राज्यपाल वर्तमान से भूतपूर्व हो जाने पर भी अपने पराए उन्हें ‘लाट साहब’ के रूप में पुकारते हैं। सरकारी नौकरी में जीवन पर्यंत बड़े बाबू से बड़े साहब-सचिव-मुख्य सचिव बन जाएं, लेकिन जोड़-तोड़ में माहिर होने पर रिटायर होने के बाद लाट साहब, नेताजी, मंत्रीजी भी बन जाते हैं।