न्यूयॉर्क शहर के महापौर एरिक एडम्स ने कहा है कि अगर महात्मा गांधी आज जिंदा होते तो शरणार्थियों, बंदूकी हिंसा, बेघरों और अवैध मादक पदार्थों के मुद्दों पर काम करते। उन्होंने कहा कि वह इस श्रद्धेय भारतीय नेता की तरह काम करना चाहते हैं, उन्होंने लोगों से महात्मा गांधी की शिक्षाओं एवं विचारधारा को आत्मसात करने का आह्वान किया।
भारत के 77वें स्वतंतत्रा दिवस के अवसर पर आयोजित ध्वजारोहण समारोह को संबोधित करते हुए एडम्स ने कहा, ‘‘जब मैं भारत में था तब मैंने देखा कि हमारे नेता के कदमों के निशान वहां बने थे, वे हत्या से पहले गांधी के आखिरी कुछ कदम थे। वह प्रतीक है कि गोली भौतिक रूप से हमारे नेता को छीन सकती है लेकिन आध्यत्मिक तौर पर हमें उनके पदचिन्हों पर चलने की प्रेरणा मिलती रहेगी।’’
महापौर ने कहा कि गांधी के दर्शन को केवल पढ़ने के बजाय लोगों को उस पर अमल करना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘अगर गांधी आज जिंदा होते तो वह शरण की चाह रखने वाले लोगों के साथ होते। वह कहते कि यह हमारा कर्तव्य है कि हम उनके प्रति मानवीय रुख अपनाएं।’’
महापौर ने कहा, ‘‘अगर गांधी आज हमारे साथ होते तो वह बंदूकी हिंसा के प्रसार से निपटने के लिए सड़कों पर होते… वह बेघरों की समस्या के समाधान के लिए काम कर रहे होते …वह उन लोगों के लिए काम कर रहे होते जो नशे के आदी हैं …वह हमारे वरिष्ठों के साथ होते ताकि हमारे मन में आत्मघाती विचार न आए और हम आत्मघाती कदम नहीं उठाएं।’’
एडम्स ने अमेरिकी नागरिक अधिकारों के नायक मार्टिन लूथर किंग का संदर्भ देते हुए कहा, ‘‘हमें केवल गांधी की पूजा नहीं करनी चाहिए बल्कि गांधी का अनुसरण करना चाहिए। हमें गांधी की तरह सोचना चाहिए और उन कदमों को जारी रखना चाहिए जिनकी शुरुआत उन्होंने की। अगर हम उनके कदमों का अनुसरण नहीं करेंगे तो गोली गांधी के सपनों और दृष्टिकोण को छीन लेगी। डॉ.किंग ने उन कदमों का अनुसरण किया।’’
महापौर ने गांधी के पदचिह्नों का अनुसरण करने की अपील करते हुए कहा, ‘‘मैं गांधी की तरह हूं, मैं गांधी की तरह सोचता हूं, मैं गांधी की तरह काम करता हूं, मैं गांधी की तरह बनना चाहता हूं…जाएं वेदों का अध्ययन करें। जाकर शुरुआती ग्रंथों को पढ़ें, जाकर विज्ञान के शुरुआती विचारों को पढ़ें, ये सभी भारतीय समुदाय की समृद्ध परंपरा हैं।’’
उन्होंने कहा कि ‘‘मैं आधुनिक युग की रामायण चाहता हूं.’’ एडम्स ने कहा कि हम बुरी शक्तियों के खिलाफ लड़ाई में नेतृत्व कर सकते हैं और उस दिशा में जा सकते हैं जहां पर हमें होना चाहिए।’’
एडम्स ने उनके नगर प्रशासन में काम कर रहे भारतीय मूल के लोगों का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘यह अमेरिका की नयी दिल्ली है जहां पर पृथ्वी पर भारतीयों की सबसे बड़ी आबादी है और उनके साथ ज्ञान है।’’
 
                                                 
                             
                                                 
                                                 
                                                 
			 
                     
                    