अमेरिकी रक्षा मंत्री पीट हेगसेथ ने कहा कि पनामा नहर को चीन से खतरा है, लेकिन अमेरिका और पनामा मिलकर नहर को सुरक्षित रखेंगे।
चीन सरकार ने हेगसेथ के इस बयान पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “नहर के लिए वास्तविक खतरा कौन है? लोग खुद यह तय कर सकते हैं।”
पनामा के राष्ट्रपति जोस राउल मुलिनो से मुलाकात के बाद बेलबोआ नौसैन्य अड्डे पर आयोजित एक कार्यक्रम में हेगसेथ ने कहा कि अमेरिका चीन या किसी अन्य देश को नहर के संचालन को खतरे में नहीं डालने देगा। उन्होंने कहा, “इसके लिए, अमेरिका और पनामा ने पिछले दशकों की तुलना में हाल के हफ्तों में अपने रक्षा व सुरक्षा सहयोग को मजबूत बनाने की दिशा में काफी ज्यादा काम किया है।”
उन्होंने कहा, “चीनी कंपनियां नहर क्षेत्र में महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे पर अपना नियंत्रण बनाए हुए हैं। इसकी वजह से चीन को पनामा में निगरानी गतिविधियां करने का अवसर मिला है। इस कारण पनामा और अमेरिका की सुरक्षा खतरे में पड़ने की आशंका है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इस ओर ध्यान दिलाया है। यह स्थिति स्वीकार्य नहीं है। ”
हेगसेथ और मुलिनो की मुलाकात के बाद पनामा में स्थित चीनी दूतावास ने अमेरिकी सरकार पर निशाना साधते हुए ‘एक्स’ पर एक बयान में कहा कि अमेरिका ने अपने हितों को आगे बढ़ाने के लिए "ब्लैकमेलिंग" का इस्तेमाल किया है। दूतावास ने कहा, “पनामा किसके साथ व्यापार करता है, यह "पनामा का संप्रभु निर्णय है ... और इसमें हस्तक्षेप करने का अमेरिका को अधिकार नहीं है।”
दूतावास ने कहा, “अमेरिका ने चीनी-पनामा सहयोग को नुकसान पहुंचाने के प्रयास के तहत 'सैद्धांतिक चीनी खतरे' के बारे में सनसनीखेज अभियान चलाया है, जो पूरी तरह से अमेरिका के अपने भू-राजनीतिक हितों में निहित है।”