अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की टैरिफ नीतियों के चलते वैश्विक व्यापार में बढ़ती अनिश्चितता के बीच, अमेरिका के उपराष्ट्रपति जेडी वेंस और अमेरिकी राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार माइक वाल्ट्ज 21 से 24 अप्रैल तक भारत की यात्रा पर आने वाले हैं। यह दौरा भारत-अमेरिका संबंधों को नई दिशा देने के उद्देश्य से हो रहा है, जिसमें उच्च प्रौद्योगिकी, महत्वपूर्ण खनिजों और निर्यात नियंत्रण जैसे क्षेत्रों में सहयोग को बढ़ावा देने पर जोर रहेगा।
इस यात्रा के दौरान जेडी वेंस प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, विदेश मंत्री एस. जयशंकर और अन्य वरिष्ठ भारतीय अधिकारियों से मुलाकात करेंगे। वेंस की यह यात्रा व्यक्तिगत भी मानी जा रही है क्योंकि वे अपनी पत्नी उषा वेंस और बच्चों- इवान, विवेक और मैरीबेल के साथ भारत आ रहे हैं। कार्यक्रम में जयपुर और आगरा जैसे ऐतिहासिक स्थलों की यात्रा भी शामिल है।
एक शीर्ष सूत्र के अनुसार 'अमेरिकी एनएसए उच्च प्रौद्योगिकी, महत्वपूर्ण खनिजों और निर्यात नियंत्रण के क्षेत्रों में सहयोग के लिए पहल का अनावरण करने के लिए भारत का दौरा कर रहे हैं।' रिपोर्टों से पता चलता है कि माइक वाल्ट्ज की भारत यात्रा महत्वपूर्ण प्रौद्योगिकियों पर बातचीत के पहले दौर पर केंद्रित होगी। माइक वाल्ट्ज यात्रा के दौरान राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल से मिलने की संभावना है, दोनों पक्षों के उन्नत प्रौद्योगिकियों पर द्विपक्षीय सहयोग के भविष्य पर चर्चा करने की उम्मीद है।
ट्रस्ट पहल: नई राह, नया भरोसा
ट्रस्ट पहल ने मुख्य रूप से यूएस-इंडिया इनिशिएटिव ऑन क्रिटिकल एंड इमर्जिंग टेक्नोलॉजी(आईसीईटी) की जगह ली। आईसीईटी को मई 2022 में प्रधानमंत्री मोदी और तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति जो बिडेन द्वारा लॉन्च किया गया था। इसका उद्देश्य उन्नत तकनीकों में सहयोग बढ़ाना था जिसमें सेमीकंडक्टर्स, टेलीकॉम, डिफेंस स्पेस और महत्वपूर्ण खनिजों जैसी श्रेणियां शामिल थीं। अब ट्रंप प्रशासन के तहत इसे "ट्रस्ट" के रूप में नया नाम और दिशा दी गई है, जिसमें भरोसे और रणनीतिक साझेदारी पर अधिक जोर है।
वैश्विक संदर्भ में यात्रा का महत्व
यह दौरा ऐसे समय में हो रहा है जब राष्ट्रपति ट्रंप ने चीन को छोड़कर बाकी सभी देशों पर लागू टैरिफ को 90 दिनों के लिए स्थगित कर दिया है, जिससे वैश्विक बाजार में अस्थिरता फैल गई है। वेंस और वाल्ट्ज की भारत यात्रा न केवल रणनीतिक सहयोग को मजबूती देगी, बल्कि वैश्विक व्यापार को स्थिर करने की दिशा में भी एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकती है।