कोरोना संक्रमण को रोकने में मददगार साबित हो रही त्वरित परीक्षण (रेपिड टेस्टिंग) किट की चीन से भारत में आपूर्ति गुरुवार को शुरू हो गयी। आईसीएमआर के वैज्ञानिक डा गंगा खेडकर ने कहा कि भारत को चीन की दो कंपनियों से पांच लाख किट मिल गयी हैं। इन किट का इस्तेमाल हॉटस्पॉट इलाकों के उन लोगों पर किया जा सकेगा जो संक्रमण के पुख्ता लक्षणों के उभरने के बाद अस्पताल में परीक्षण के लिये आते हैं।
डा गंगाखेडकर ने कहा कि इन किट का इस्तेमाल सभी मरीजों में संक्रमण की पुष्टि के लिये नहीं किया जायेगा, क्योंकि यह किट कम से कम 14 दिन पुराने संक्रमित मरीज में एंटीबॉडी की पहचान करती है, इसलिये इसका इस्तेमाल, चिन्हित किये गये हॉटस्पॉट क्षेत्रों में संक्रमण की निगरानी करने के लिये किया जाता है। रेपिड किट का किफायती इस्तेमाल सुनिश्चित करने के लिये इस किट से संक्रमण के लक्षणों वाले संभावित मरीजों के समूह का भी परीक्षण किया जा सकता है।
देश में कोरोना संक्रमण के परीक्षण हेतु संसाधनों की पर्याप्त उपलब्धता का जिक्र करते हुये डा. गंगाखेड़कर ने कहा कि हाल ही में आईसीएमआर ने देश में छह सप्ताह तक परीक्षण सुविधाओं का भंडार सुरक्षित होने की बात कही थी। अब यह क्षमता बढ़कर आठ सप्ताह हो गयी है। इसलिये कोविड-19 की परीक्षण क्षमता को लेकर चिंता करने की कोई बात नहीं है।
दो पालियों में कर सकते हैं परीक्षण
उन्होंने कहा कि देश में अब तक 2,90,401 कोविड-19 परीक्षण किये जा चुके हैं। इनमें पिछले 24 घंटों में हुई 30,043 परीक्षण शामिल हैं। उन्होंने कहा कि अभी आईसीएमआर की 176 प्रयोगशालाओं में नौ घंटे की एक पाली (शिफ्ट) में 42,418 परीक्षण प्रतिदिन करने की क्षमता है। जरूरत पड़ने पर प्रयोगशालाओं में दो पाली में काम शुरु करने की क्षमता है, इस लिहाज से प्रतिदिन 78,227 परीक्षण हो सकेंगे। बता दे कि इससे पहले चीन ने 6.5 लाख किट्स (रैपिड ऐंटीबॉडी और आरएनए एक्सट्रेक्शन) गुरुवार को भारत के लिए रवाना करने की बात कही थी। इनके आईसीएमआर ने गुरुवार शाम तक मिलने की संभावना जताई गई थी।
चीन से मिली पीपीई किट्स क्वालिटी टेस्ट में हुई फेल
कोरोना की इस लड़ाई में अहम भूमिका निभाने वाले डॉक्टर्स को पीपीई यानि पर्सनल प्रोटेक्टिव इक्विपमेंट किट की कमी न हो इसलिए भारत ने चीन से करीब डेढ़ करोड़ पीपीई किट्स का ऑर्डर किया है। इस बीच चीन की बड़ी निजी कंपनियों की तरफ से भारत भेजे गए कई किट्स क्वालिटी टेस्ट में फेल हो गए हैं। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक इस मामले से संबंधित एक व्यक्ति ने बताया कि चीन से आईं 1 लाख 70 हजार किट्स में से 50 हजार किट्स क्वालिटी टेस्ट में फेल हो गईं हैं। उन्होंने बताया कि 30,000 और 10,000 किट्स के दो छोटे कंसाइनमेंट्स भी आईं, जो टेस्ट में फेल हो गई हैं। इन किट्स की डिफेंस रिसर्च एंड डेवलपमेंट ऑर्गनाइजेशन लेबोरेट्री ग्वालियर में टेस्टिंग की गईं।