प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मार्च 2015 से नवंबर 2019 के बीच कुल 58 देशों की यात्रा की है। इन यात्राओं पर कुल 517.82 करोड़ रुपये खर्च हुए। यह जानकारी मंगलवार को संसद में दी गई।
राज्यसभा को एक प्रश्न के लिखित उत्तर में विदेश राज्यमंत्री वी मुरलीधरन ने यह भी बताया कि प्रधानमंत्री के इन दौरों से द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर भारत के दृष्टिकोण के बारे में अन्य देशों की समझ बढ़ी तथा संबंधों में मजबूती आई है।
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) की फौजिया खान ने सरकार से जानना चाहा था कि साल 2015 से आज की तारीख तक प्रधानमंत्री मोदी ने कितने देशों का दौरा किया और इन दौरों पर कुल कितना व्यय हुआ।
इसके उत्तर में मुरलीधरन ने बताया, ‘‘2015 से प्रधानमंत्री ने 58 देशों की यात्रा की। इन यात्राओं पर कुल 517.82 करोड़ रुपए व्यय हुआ।’’
उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री की विदेश यात्राओं के दौरान उनके द्वारा किए गए पारस्परिक विचार-विमर्शों से द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर भारत के दृष्टिकोण के बारे में अन्य देशों की समझ बढ़ी है और इन वार्ताओं से व्यापार और निवेश, प्रौद्योगिकी, सामुद्रिक सहयोग, अंतरिक्ष, रक्षा सहयोग और लोगों के बीच परस्पर संपर्कों समेत अनेक क्षेत्रों में उनके साथ संबंध मजबूत हुए हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘संबंधों में आई इस मजबूती ने हमारे आर्थिक विकास को बढ़ावा देने और हमारे नागरिकों की भलाई के लिए भारत के राष्ट्रीय विकास एजेंडे में भूमिका निभाई है।’’
मुरलीधरन ने कहा कि भारत अब जलवायु परिवर्तन, अन्तरराष्ट्रीय अपराध और आतंकवाद, साइबर सुरक्षा और परमाणु अप्रसार सहित बहुपक्षीय स्तर पर वैश्विक एजेंडे को मूर्तरूप देने के लिए बढ़-चढ़कर योगदान दे रहा है और अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन और आपदा समर्थ अवसंरचना के लिए गठबंधन जैसे वैश्विक मुद्दों के लिए विश्व को अपनी अनूठी पहलों की पेशकश कर रहा है।