दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल ने दिल्ली सरकार द्वारा नियुक्त 14 वकीलों के पैनल को 'अवैध' करार दिया है। इसे लेकर फिर आप सरकार और उपराज्यपाल के बीच टकराव हो सकता है। केजरीवाल सरकार ने इन वकीलों को दिल्ली उच्च न्यायालय के समक्ष मामलों में पेश होने के लिए नियुक्त किया था।
पैनल में इन वकीलों का था नाम
उपराज्यपाल बैजल द्वारा खारिज किए गए पैनल में इंदिरा जयसिंह, रेबेका मेमन जॉन, कोलिन गोंजाल्वेस जैसे जाने माने वकील शामिल थे।
ये है वजह
हिंदुस्तान टाइम्स के मुताबिक पिछले सप्ताह मुख्य सचिव अंशु प्रकाश को भेजे गए संदेश में उपराज्यपाल के प्रधान सचिव विजय कुमार ने कहा कि वकीलों के पैनल से संबंधित आदेश कथित तौर पर उपराज्यपाल की मंजूरी लिए बिना जारी किए गए हैं।
केजरीवाल की प्रतिक्रिया
फैसले से नाराज केजरीवाल ने ट्वीट किया, “हमारे सभी सलाहकार खारिज, सीसीटीवी खारिज, घर पर राशन पहुंचाया जाना खारिज, एलजी साहब कुछ रचनात्मक कीजिए, हर चीज खारिज-खारिज-खारिज।”
केजरीवाल ने लिखा है कि एलजी के पास किसी भी सरकारी प्रस्ताव को खारिज करने की शक्ति नहीं है। संविधान के तहत, एलजी केवल अपनी अलग राय व्यक्त कर सकते हैं। यह अस्वीकृति पूरी तरह से अवैध, असंवैधानिक और अधिकार क्षेत्र के बाहर है। एलजी संविधान का पालन करें।
LG does not have the power to reject any govt proposal. Under constitution, LG can only express his difference of opinion. This rejection is completely illegal, unconstitutional and without jurisdiction. LG shud follow constitution https://t.co/IGLfqHz29u
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) May 21, 2018