कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और वायनाड से सांसद राहुल गांधी ने एक बार फिर रोजगार का मसला उठाया। कांग्रेस नेता ने कहा कि मोदी सरकार देश के युवाओं की समस्या का समाधान दे।
राहुल गांधी ने शुक्रवार को ट्वीट करते हुए कहा कि मोदी सरकार रोजगार, बहाली, परीक्षा के परिणाम दो, देश के युवाओं की समस्या का समाधान दो। इससे पहले राहुल ने जीडीपी का मसला उठाते हुए मोदी सरकार को घेरने की कोशिश की थी।
इससे पहले राहुल गांधी ने कहा था कि मोदी जी का 'कैश-मुक्त' भारत दरअसल 'मजदूर-किसान-छोटा व्यापारी' मुक्त भारत है। जो पासा 8 नवंबर 2016 को फेंका गया था, उसका एक भयानक नतीजा 31 अगस्त 2020 को सामने आया। जीडीपी में गिरावट के अलावा नोटबंदी ने देश की असंगठित अर्थव्यवस्था को कैसे तोड़ा ये जानने के लिए मेरा वीडियो देखिए।
वहीं, कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने भी अपने ट्विटर अकाउंट के माध्यम से कहा, 'नौकरीपेशा व मध्यमवर्ग पर रोज पड़ती मार, ये 40 करोड़ लोग बदहाली के शिकार! ईएमआई भुगतान का समय 31 अगस्त, 2020 से आगे न बढ़ा तथा लॉकडाउन के दौरान ईएमआई पर ब्याज वसूलने का निर्णय मोदी सरकार ने 31 अगस्त को सुप्रीम कोर्ट में कहा। सारी उम्मीदें टूट गईं, यह जले पर घाव नहीं तो क्या है?'
रणदीप सुरजेवाला ने कहा, '73 साल में पहली बार ‘अर्थव्यवस्था और आम आदमी’, दोनों की कमर तोड़ी है। देश ‘आर्थिक तबाही व वित्तीय आपातकाल’ में धकेल रहे हैं। धड़ाम से गिरी जीडीपी इसका सबूत है। ‘नोटबंदी-जीएसटी-देशबंदी’ मास्टर स्ट्रोक नहीं, असल में हैं ‘डिज़ास्टर स्ट्रोक’ थे।'