नेशनल इलेक्शन वाच और एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स ने असम विधानसभा चुनाव के लिए नवगठित असम सरकार के मुख्यमंत्री सहित 11 मंत्रियों के हलफनामों का अध्ययन किया। हलफनामों के विश्लेषण में यह पाया गया कि नवनियुक्त मंत्री और ढकुआखाना विधानसभा क्षेत्र से निर्वाचित नब कुमार डोली के विरुद्ध एक आपराधिक केस दर्ज है। केस में कई मामलों के लिए आईपीसी की विभिन्न धाराएं लगाई गई हैं। एक मामला झूठे साक्ष्य देने का (आईपीसी की धझारा-191), एक मामला झूठे साक्ष्य से छेड़छाड़ का (आईपीसी की धारा 192) और एक मामला अपने हलफनामे में गलत जानकारी देने (आईपीसी की धारा 193 ) से संबंधित है। इन सभी मामलों में नब कुमार डोली के विरुद्ध भारतीय दंड प्रक्रिया संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज है। हलफनामों के अध्ययन के अनुसार राज्य के नए मंत्रिमंडल के सदस्यों में नब कुमार एकलौते ऐसे मंत्री हैं जिनके विरुद्ध आपराधिक मामला दर्ज है। किसी भी अन्य मंत्री ने अपने हलफनामे में ऐसी कोई जानकारी नहीं दी है।
इलेक्शन वाच और एडीआर के अध्ययन के अनुसार राज्य के 11 मंत्रियों में 9 करोड़पति हैं। हलफनामों के अनुसार यहां भी सबसे आगे नब कुमार ही हैं। अपने हलफनामे के अनुसार नब कुमार राज्य मंत्रिमंडल के सबसे अमीर सदस्य हैं। हलफनामे में की गई घोषणा के अनुसार नब कुमार 7.30 कोरड़ रुपये की संपत्ति के मालिक हैं। जबकि राज्य के 11 मंत्रियों की संपत्ति की औसत कीमत 2.67 करोड़ रुपये है। आंकड़ों के अनुसार राज्य के 82% मंत्री करोड़पति हैं। वहीं धोलाइ विधानसभा से निर्वाचित मंत्री परिमल सुक्लबैद्य मंत्रीमंडल में सबसे कम संपत्ति के मालिक हैं। हलफनामे के अनुसार सुक्लबैद्य की कुल संपत्ति की कीमत 37.92 लाख रुपये है।
इलेक्शन वाच और एडीआर की रिपोर्ट के अनुसार मंत्रीमंडल के 82% यानी 9 सदस्य स्नातक हैं जबकि 2 सदस्यों के पास 12वीं तक की शिक्षा है। मंत्रीमंडल के 11 सदस्यों में केवल एक महिला सदस्य 65 वर्षीय प्रमिला रानी ब्रह्मा हैं जो कि नई सरकार की सबसे अधिक उम्र की मंत्री हैं। सबसे कम उम्र के मंत्री भाजपा के पल्लब लोचन दास हैं जिनकी उम्र 38 साल है। हलफनामों के अनुसार 11 मंत्रियों में से 8 ने अपनी उम्र 51 से 70 वर्ष के बीच घोषित की है। केवल 2 मंत्रियों की उम्र 30 से 50 साल के बीच है।