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मुलायम ने कहा, साइकिल चिह्न हमारा है, गेंद ईसी के पाले में

सपा के साइकिल चुनाव चिह्न पर दावे को लेकर प्रतिद्वंद्वी खेमों के निर्वाचन आयोग के पास पहुंचने की योजना के साथ ही यादव कुनबे की लड़ाई आज दिल्ली पहुंच गई। इस बीच सपा अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव ने उनके द्वारा पांच जनवरी को आहूत पार्टी अधिवेशन स्थगित कर दिया।
मुलायम ने कहा, साइकिल चिह्न हमारा है,  गेंद ईसी के पाले में

मुलायम ने कहा, साइकिल चिह्न हमारा है। उन्होंने पार्टी कार्यकताओं से विधानसभा चुनाव जीतने पर ध्यान केंद्रित करने को कहा। राज्य में चुनाव की घोषणा कभी भी हो सकती है। आगामी पांच जनवरी को लखनऊ में होने वाले सपा अधिवेशन को स्थगित करने वाले मुलायम ने कहा, कोई भी व्यक्ति मुझ पर आरोप नहीं लगा सकता कि मैंने गलत किया है। मैंने न तो कभी भ्रष्टाचार किया और न ही किसी को धोखा दिया। साइकिल चुनाव निशान हमारा है।

मुलायम खेमे के दिल्ली में शाम चार से पांच बजे के बीच ईसी के वरिष्ठ अधिकारियों से मिलने की संभावना है। सपा का नियंत्रण अपने हाथ में लेने की कल कोशिश करने वाले मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के लखनऊ में अपने आवास में पार्टी नेताओं एवं विधायकों से मुलाकात करने की संभावना है।

सूत्रों के अनुसार ईसी के समक्ष चुनाव चिह्न का मामला उठाते समय राम गोपाल अखिलेश का प्रतिनिधित्व कर सकते है।

इस बीच सपा नेता शिवपाल यादव ने ट्वीट करके कहा कि मुलायम अब भी सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं। शिवपाल ने पार्टी अधिवेशन अचानक स्थगित किए जाने का कोई कारण नहीं बताया लेकिन सूत्रों के अनुसार मुलायम खेमे को राम गोपाल यादव द्वारा कल आयोजित अधिवेशन में बड़ी संख्या में लोगों के जुटने की तुलना में कम लोगों के अधिवेशन में शामिल होने की आशंका थी। मुलायम ने कल हुए अधिवेशन को अवैध एवं असंवैधानिक घोषित कर दिया है।

सपा उस समय दो टुकड़ों में बंट गयी थी जब अखिलेश के नेतृत्व वाले खेमे ने अधिवेशन में मुलायम को पार्टी प्रमुख पद से हटा दिया था और अखिलेश को उनके पद पर नियुक्त किया था। राम गोपाल द्वारा आहूत अधिवेशन में शिवपाल को पार्टी की राज्य इकाई के पद से हटा दिया गया था और बाहरी अमर सिंह को दरवाजा दिखा दिया गया था जिन्हें यादव कुनबे में फसाद की जड़ बताया जा रहा है।

इसके बाद मुलायम ने अधिवेशन के कर्ताधर्ता रामगोपाल यादव के साथ-साथ उसमें शिरकत करने वाले पार्टी उपाध्यक्ष किरणमय नंदा और महासचिव नरेश अग्रवाल को छह साल के लिए पार्टी से निकाल दिया।

शिवपाल और अमर यह सुनिश्चित करने की रणनीति बनाने के लिए आज सुबह दिल्ली पहुंचे कि राज्य में विधानसभा चुनाव से पहले साइकिल चुनाव चिह्न मुलायम के पास ही रहे। राज्य में चुनाव की घोषणा कभी भी हो सकती है।

अमर सिंह ने लंदन से लौटने के बाद संवाददाताओं से कहा, मैं मुलायम सिंह यादव के साथ था और रहूंगा। मैं एक नायक था लेकिन उनके लिए मैं अब खलनायक बनने को तैयार हूं।

अखिलेश खेमे द्वारा पार्टी से निकाले जाने के बारे में पूछे जाने पर अमर ने कहा कि वह तभी दु:खी होंगे, जब मुलायम उनके खिलाफ कुछ कहेंगे।

अमर ने कहा, एक बार मुलायम सिंह यादव ने कहा था कि अमर सिंह हमारे दल में नहीं लेकिन दिल में है। यदि मुलायम सिंह यादव मुझे अपने दिल से निकाल देते हैं तो यह दु:खदायी होगा। मेरे लिए पार्टी महत्वपूर्ण नहीं है।

उन्होंने कुछ नेताओं पर निशाना साधते हुए कहा, मैंने हाथ जोड़कर राज्यसभा में सीट देने का अनुरोध करने वाले अन्य नेताओं की तरह पार्टी से कभी राज्यसभा सीट नहीं मांगी। इस बीच शिवपाल ने कहा कि वह मुलायम के साथ बने रहेंगे। शिवपाल को भी अखिलेश खेमे ने सपा की उत्तर प्रदेश इकाई के प्रमुख पद से हटा दिया है।

उन्होंने दिल्ली पहुंचने पर कहा, मैं आखिरी सांस तक मुलायम के साथ रहूंगा। अमर एवं शिवपाल मुलायम एवं कुछ अन्य नेताओं के साथ अपराह्न में बैठक करेंगे जिसके बाद वे यह सुनिश्चित करने के लिए निर्वाचन आयोग के पास जाएंगे कि साइकिल चुनाव चिह्न मुलायम सिंह के पास ही रहे और न तो इस चिह्न पर रोक लग पाए और न ही उसे अखिलेश खेमे को दिया जाए।

भाषा

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