केजरीवाल ने कल केंद्र पर पिछले दरवाजे से दिल्ली का शासन चलाने का प्रयास करने का आरोप लगाया था। उससे पहले गृह मंत्रालय ने एक अधिसूचना जारी कर कहा था कि नौकरशाहों की नियुक्ति में उपराज्यपाल को पूर्ण शक्ति प्राप्त है और स्पष्ट किया था कि उन्हें पुलिस और लोक व्यवस्था जैसे विषयों पर मुख्यमंत्री से परामर्श करने की जरूरत नहीं है।
रिजिजू ने यहां एक कार्यक्रम के अवसर पर संवाददाताओं से कहा, केजरीवाल को जवाब देने की जरूरत ही नहीं है क्योंकि वह बस ड्रामा चाहते हैं। हम डामा में नहीं बल्कि शासन में यकीन करते हैं। केजरीवाल और उपराज्यपाल नजीब जंग के बीच दिल्ली सरकार में नौकरशाहो के तबादले और उनकी तैनाती को लेकर तीखा टकराव पैदा हो गया है। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने भी यह कहते हुए आप सरकार पर हमला किया था कि लोगों का प्रयोग बहुत महंगा साबित हुआ है क्योंकि शासन उनका (आप का) राजनीतिक एजेंडा नहीं है।
उन्होंने कहा था, ‘पिछले कुछ महीनों से दिल्ली में जो कुछ हो रहा है, उससे पता चलता है कि आने वाले दिन बड़े पीड़ादायी हो सकते हैं। आप सरकार एक बड़े जनादेश के साथ आई। उसे अपनी जिम्मेदारियां समझनी चाहिए। लोग शासन चाहते हैं न कि विवाद। अतएव उसे अपनी जिम्मेदारियां समझनी चाहिए तथा लोगों की आकांक्षाएं पूरी करनी चाहिए।’
 
                                                 
                             
                                                 
                                                 
                                                 
			 
                     
                    