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'अखिलेश ही नहीं होंगे सपा से मुख्‍यमंत्री उम्‍मीदवार'

समाजवादी पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह यादव ने शुक्रवार को साफ कहा कि यूपी में उनकी पार्टी की तरफ से अगला मुख्‍यमंत्री कौन होगा, यह अभी निश्चित नहीं है। चुनाव जीतने के बाद उनकी पार्टी से मुख्यमंत्री कौन बनेगा, यह फैसला पार्टी का पार्लियामेंट बोर्ड करेगा। उन्होंने कहा कि मुख्‍यमंत्री का फैसला संसदीय बोर्ड पर छोड़ दिया जाना चाहिए। मुलायम के इस बयान के बाद सपा की राजनीति सूबे में गरमा सकती है।
'अखिलेश ही नहीं होंगे सपा से मुख्‍यमंत्री उम्‍मीदवार'

समाजवादी पार्टी की स्थापना के 25 साल पूरे होने पर लखनऊ में संवाददाताओं से बात करने पहुंचे मुलायम सिंह यादव ने परिवार में किसी विवाद की बात से साफ इंकार किया और दावा किया कि उनके परिवार में मुख्यमंत्री पद को लेकर न कभी विवाद हुआ है, और न होगा। उन्होंने दावा किया कि उनकी पार्टी ही भारी बहुमत से सत्ता में लौटेगी।

उन्होंने कहा कि 5 नवंबर को समाजवादी पार्टी की स्थापना के 25 साल पूरे होंगे, और उनकी पार्टी 6 नवंबर को रजत जयंती समारोह मनाएगी। मुलायम सिंह यादव ने सभी पार्टी कार्यकर्ताओं से समारोह को सफल बनाने का अनुरोध किया है।

समान नागरिक संहिता :कामन सिविल कोड: को लेकर आल इण्डिया मुस्लिम पर्सनल ला बोर्ड और केन्द्र सरकार के बीच जारी कानूनी जंग के बीच मुलायम सिंह यादव ने कहा कि इस मसले को धर्मगुरुओं पर छोड़ दिया जाना चाहिये। यादव ने समान नागरिक संहिता को लेकर जारी बहस के बारे में पूछे जाने पर कहा कि अभी वह इस मुद्दे पर ज्यादा कुछ नहीं कहेंगे, लेकिन इतना जरूर है कि इसे लेकर कोई विवाद नहीं होना चाहिये।

 उन्होंने कहा कि समान नागरिक संहिता के मुद्दे को धार्मिक नेताओं पर छोड़ देना चाहिये। देश और इंसानियत के सवाल पर सबको एकजुट रहना चाहिये। सपा मुखिया ने कहा कि समान नागरिक संहिता का मुद्दा पूर्व में भी उछाला जाता रहा है। उन्होंने एक संस्मरण सुनाते हुए कहा कि एक बार समाजवादी चिंतक राम मनोहर लोहिया का पुणे के पास एक शहर में कार्यक्रम था। तब वहां इसी मुद्दे को लेकर हिन्दुओं और मुसलमानों के बीच काफी तनाव था। बड़ी संख्या में लोग लोहिया को सुनने आये थे।

उन्होंने बताया कि लोहिया ने अपने भाषण में कहा था कि कुरान, गीता और रामायण सभी में इंसानियत का पाठ सिखाया गया है। सभी लोग अपने-अपने धर्मों की रस्सी मजबूती से थामकर चलें और मिलजुलकर रहें। लोहिया के वचनों का दोनों समुदायों पर एेसा गहरा असर हुआ कि अगली सुबह तक तनाव बिल्कुल खत्म हो गया।

गौरतलब है कि आॅल इंडियन मुस्लिम पर्सनल लाॅ बोर्ड और देश के कुछ दूसरे प्रमुख मुस्लिम संगठनों ने समान नागरिक संहिता पर विधि आयोग की प्रश्नावली का बहिष्कार करते हुए केन्द्र की भाजपा नीत सरकार पर उनके समुदाय के खिलाफ युद्ध छेड़ने का आरोप लगाया था। बोर्ड ने इस मसले पर शुक्रवार से देश में एक हस्ताक्षर अभियान भी शुरू किया है।

मुलायम सिंह यादव ने पार्टी की उपलब्धियों का ज़िक्र करते हुए कहा कि हम छोटी-सी पार्टी बनाकर आज इस मुकाम पर पहुंचे हैं, और पिछले 25 साल में हमने चार बार राज्य में सरकार बनाई। यहीं नहीं, हमने दिल्ली में भी सरकार (केंद्र सरकार) बनाने में योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि केंद्रीय रक्षामंत्री के रूप में उनके कार्यकाल को लोग आज भी याद करते हैं, और यह उनकी समाजवादी पार्टी की उपलब्धि है।

उन्होंने कहा कि जनता को उनके परिवार पर सबसे ज़्यादा विश्वास है, क्योंकि जनता आज भी समाजवादी विचारधारा पर भरोसा करती है। उन्होंने बताया कि समाजवादी पार्टी में विचारधारा ही सबसे महत्वपूर्ण है, और उनकी पार्टी की विचारधारा सभी को साथ लेकर चलने की है। ब्‍यूरो / एजेंसी 

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