कांग्रेस के नेता राहुल गांधी ने चुनावी बॉण्ड विवरण का खुलासा करने के लिए समय बढ़ाने का अनुरोध करते हुए भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के उच्चतम न्यायालय जाने को लेकर सरकार की आलोचना की और इसे लोकसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ‘असली चेहरे’ को छिपाने का ‘अंतिम प्रयास’ बताया।
एसबीआई ने उच्चतम न्यायालय से राजनीतिक दलों द्वारा भुनाए गए प्रत्येक चुनावी बॉण्ड के विवरण का खुलासा करने की समयसीमा 30 जून तक बढ़ाने का सोमवार को अनुरोध किया।
पिछले महीने अपने फैसले में, उच्चतम न्यायालय ने एसबीआई को छह मार्च तक निर्वाचन आयोग को विवरण प्रदान करने का निर्देश दिया था।
गांधी ने दावा किया कि एक क्लिक पर निकाली जा सकने वाली जानकारी के लिए 30 जून तक का समय मांगना बताता है कि ‘दाल में कुछ काला नहीं है, पूरी दाल ही काली है।’
उन्होंने कहा, ‘‘देश की हर स्वतंत्र संस्था ‘मोडानी परिवार’ बनकर उनके भ्रष्टाचार पर पर्दा डालने में लगी है। चुनाव से पहले मोदी के ‘असली चेहरे’ को छिपाने का यह ‘अंतिम प्रयास’ है।’’
कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने भी इस मुद्दे पर सरकार की आलोचना की और कहा कि सत्तारूढ़ दल अपने अथाह वित्त कोष के स्रोत का खुलासा करने से इतना क्यों घबराता है।