नई दिल्ली। लंबी जद्दोजहद के बाद आखिरकार लालू प्रसाद यादव और नीतीश कुमार ने बिहार विधानसभा चुनाव मिलकर लड़ने का फैसला किया है। जबकि मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार के विवादास्पद मुद्दे को फिलहाल टाल दिया गया है। जनता दल यूनाइटेड और राष्ट्रीय जनता दल के बीच सीटों के बंटवारे पर विचार करने के लिए छह सदस्य समिति गठित होगी। समाजवादी पार्टी के महासचिव रामगोपाल यादव ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और राजद प्रमुख लालू प्रसाद के बीच दो घंटे तक चली बैठक के बाद यह जानकारी दी है। रामगोपाल यादव ने बताया, आज यह तय किया गया है कि राजद और जदयू बिहार चुनाव गठबंधन में लड़ेंगे।
सपा प्रमुख मुलायम सिंह की मौजूदगी में आज हुई इस बैठक के बाद रामगोपाल यादव ने कहा कि सीटों के बंटवारे पर विचार करने के लिए एक छह सदस्य समिति विचार करेगी। हालांकि, उन्होंने समिति के सदस्यों का नाम बताने से इंकार कर दिया। उन्होंने कहा, इसका खुलासा नहीं किया जा सकता। दोनों पार्टियाें के समिति में तीन तीन सदस्य होंगे जो सीट बंटवारे पर निर्णय करेंगे। मुख्यमंत्री पद के प्रत्याशी के विवादास्पद मुद्दे पर सपा महासचिव ने कहा, कोई विवाद नहीं है। बाद में इन चीजों को देखा जायेगा।
राहुल गांधी से मिले नीतीश कुमार
एक अन्य दिलचस्प घटनाक्रम में लालू प्रसाद यादव के साथ बैठक से पहले बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के आवास पर जाकर उनसे मुलाकात की। बिहार के मुख्यमंत्री की राहुल के साथ यह बैठक भाजपा से निबटने के लिए धर्मनिरपेक्ष गठबंधन को लेकर हुई है। मुख्यमंत्री पद के प्रत्याशी को लेकर राजद और जदयू नेताओं में गतिरोध के बीच कांग्रेस ने यह स्पष्ट किया है कि यदि वे साथ में आने में विफल रहे तो पार्टी जदयू के साथ जाना पसंद करेगी।