गंगा, यमुना, कृष्णा, कावेरी जैसी नदियों की अविरल धारा और निर्मलता सुनिश्चित करने के लिए जल विशेषज्ञों ने तालाबों, छोटी नदियों को बचाने के कार्य से ग्राम पंचायतों को जोड़ने तथा नदियों को बांधे और जोड़े बिना बाढ़ और सूखे जैसी स्थिति से बचने का नया विज्ञान खोजने की जरूरत बतायी है।
राजग सरकार की महत्वाकांक्षी 9,393 करोड़ रूपये की केन बेतवा नदी जोड़ो परियोजना के 2017 की पहली तीमाही से शुरू होने का मार्ग प्रशस्त हो गया है और इस परियोजना को हरित पैनल और आदिवासी मामलों के मंत्रालय की मंजूरी मिल गई है। इससे 6.35 लाख हेक्टेयर भूमि की सिंचाई और बुंदेलखड में पेयजल की समस्या से निपटने में मदद मिलने की उम्मीद है।
पटना में गंगा नदी में आज शाम एक देशी नौका के डूबने से कम से कम 19 लोगों की मौत हो गई। हादसे की वजह नाव में क्षमता से अधिक सवारी होना थी। मिल रही खबरों के मुताबिक नाव में लगभग 40 लोग सवार थे। इनमें काफी संख्या में बच्चे भी थे। कुछ लोगों को इलाज के लिए पटना मेडिकल कॅालेज अस्पताल (पीएमसीएच) में भर्ती कराया गया है।
मोदी सरकार की महत्वाकांक्षी 9,393 करोड़ रुपये की केन-बेतवा नदी जोड़ो परियोजना को हरित पैनल और आदिवासी मामलों के मंत्रालय की मंजूरी मिल गई है जिससे 6.35 लाख हेक्टेयर भूमि की सिंचाई और बुंदेलखड में पेयजल की समस्या से निपटने में मदद मिलेगी।
उत्तर प्रदेश में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले बहुजन समाज पार्टी (बीएसपी) प्रमुख मायावती की मुश्किलें एक बार फिर बढ़ सकती हैं। चैनल टाइम्स नाउ की रिपोर्ट में खुलासा किया गया है कि मायावती के भाई आनंद कुमार के द्वारा चलाई जा रही कंपनियों ने महज सात साल के भीतर 18 हजार प्रतिशत का मुनाफा कमाया है। इन सात सालों के दौरान पांच सालों तक (2007-2012) तक मायावती सूबे की मुख्यमंत्री थीं।
पाकिस्तान ने कहा है कि वह सिंधु नदी जल समते (आईडब्ल्यूटी) में किसी भी प्रकार के बदलाव को स्वीकार नहीं करेगा। गौरतलब है कि भारत 56 साल पुराने समझौते के क्रियान्यवन के साथ ही द्विपक्षीय मतभेद निवारण पर जोर दे रहा है।
तेलगूदेशम पार्टी के सांसद एन शिवप्रसाद ने नोटबंदी के फैसले के बाद आम जनता को होने वाली समस्याओं को उजागर करने के लिए अनोखा तरीका अख्तियार किया। मंगलवार को एन शिवप्रसाद संसद में काली सफेद रंग की शर्ट पहनकर आए जिसमें एक तरफ दुखी किसानों की तस्वीर थी तो दूसरी तरफ अमीर लोगों की।
श्रीनगर से 15 किलोमीटर दूर पंपोर में श्रीनगर-जम्मू हाईवे पर स्थित इंटरप्रेन्योरशिप डेवलपमेंट इंस्टीट्यूट (ईडीआई) की इमारत में छिपे आतंकियों को 52 घंटे तक चली कार्रवाई में मार गिराया गया है, लेकिन इस घटना से सुरक्षा चौकसी में खामियां भी सामने आई हैं। खुफिया विभाग के द्वारा राज्य प्रशासन को सतर्क किए जाने के बावजूद सुरक्षा बलों को चौकस नहीं किया गया। नतीजा यह कि झेलम नदी पार कर घुसे आतंकी आराम से इस परित्यक्त सरकारी इमारत में घुस बैठे। उनका इरादा इस इमारत से कुछ ही दूरी पर स्थित सेना के 15 कोर के मुख्यालय और सीमा सुरक्षा बल के शिविर पर हमला करने का था।