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Search Result : "मनसुख मंडाविया की कहानी"

अनु सिंह चौधरी की कहानी 'प्लीज डू नॉट डिस्टर्ब'

अनु सिंह चौधरी की कहानी 'प्लीज डू नॉट डिस्टर्ब'

लेडी श्रीराम कॉलेज और भारतीय जनसंचार संस्थान से पढ़ाई के बाद पांच साल टीवी की नौकरी की। फिलहाल डॉक्युमेंट्री फिल्ममेकर, कम्युनिकेशन्स कंसलटेंट और अनुवादक के रूप में काम। पहला कहानी संग्रह नीला स्कार्फ बहुत ज्यादा चर्चित। मदरहुड और पेरेंटिंग पर पहली हिंदी की किताब मम्मा की डायरी को भी बहुत सराहना।
राजेंद्र राव की कहानी 'दोपहर का भोजन'

राजेंद्र राव की कहानी 'दोपहर का भोजन'

राजेंद्र राव शिक्षा और पेशे से भले ही इंजीनियर रहे हों, मगर उनका मन सदैव साहित्य और पत्रकारिता में ही रमा रहा । तकनीकी और प्रबंधन के क्षेत्र में काफी समय बिताने के बाद अवसर मिलते ही साहित्यिक पत्रकारिता में आ गए। कृतियों में एक उपन्यास, सात कथा संकलन और कथेतर गद्य के बहुचर्चित संकलन उस रहगुजर की तलाश है । संप्रति दैनिक जागरण में साहित्य संपादक।
प्रकृति करगेती की कहानी: ठहरे हुए से लोग

प्रकृति करगेती की कहानी: ठहरे हुए से लोग

प्रकृति करगेती की यह पहली कहानी है। इसी कहानी पर उन्हें प्रतिष्ठित राजेन्द्र यादव हंस कथा सम्मान मिला है। दिल्ली विश्वविद्यालय से पत्रकारिता में स्नातक प्रकृति मुंबई में नेटवर्क 18में प्रोमो प्रोड्यूसर के पद पर काम करती हैं। कहानी लिखने से पहले प्रकृति कविताएं लिखती रही हैं। पहाड़ों के नाम लिखी गई उनकी कविताएं कई प्रतिष्ठित पत्रिकाओं में प्रकाशित हुई हैं।
कहानी: पाई टु पाई ऑनेस्ट

कहानी: पाई टु पाई ऑनेस्ट

सन 1963 में पहली कहानी ‘कहानी’ नाम की पत्रिका में छपी। पिछले पांच दशकों में हिंदी की तमाम छोटी-बड़ी पत्रिकाओं में नियमित प्रकाशन। कविता संग्रह, सिर्फ सोलह सफे, पठार को सुनो, अतिपूर्वा, इंधन चुनते हुए, सीढ़ियों पर धूप, आग के आसपास, बीस सुरों की सदी। कहानी संग्रह, कोरस वाली गली, नायाब नर्सरी। इसके अलावा भी कई अन्य क्षेत्रों में लेखन और संपादन। झारखंड पर केंद्रित कई किताबें। झारखंड के जाने-माने लेखकों में शुमार।
मां की कहानी झूठी, मोदी का रोना नाटकबाजी: कांग्रेस

मां की कहानी झूठी, मोदी का रोना नाटकबाजी: कांग्रेस

कांग्रेस के प्रवक्‍ता आनंद शर्मा ने पीएम मोदी पर सवाल उठाया कि अगर उन्‍हें अपनी मां की इतनी ही परवाह है तो अपने साथ क्‍यों नहीं रखते। 12 साल गुजरात के मुख्‍यमंत्री रहने के बावजूद पीएम ने उन्‍हें अपने शपथ-ग्रहण समारोह तक में नहीं बुलाया। कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के उस बयान को झूठा करार दिया है कि जिसमें उन्‍होंने कहा था कि उनकी मां दूसरों के घरों में बर्तन साफ करती थीं।
आशा पांडे की कहानी - खुद्दार

आशा पांडे की कहानी - खुद्दार

एम. ए.। प्राचीन इतिहास में पीएच.डी। कहानी-कविता के साथ-साथ यात्रा वृत्तां पर भी पुस्तक। धूप का गुलाब और चबूतरे का सच नाम से कहानी संग्रह। बादल को घिरते देखा है यात्रा वृत्तांत और तख्त बनने लगा आकाश नाम से कविता संग्रह प्रकाशित। साथ में खिले हैं शब्द नाम से एक हाइकू संग्रह। महाराष्ट्र राज्य हिंदी साहित्य अकादमी का मुंशी प्रेमचंद पुरस्कार।
पैमिला मानसी की कहानी 'कैसा यह खौफ'

पैमिला मानसी की कहानी 'कैसा यह खौफ'

दर्शन शास्त्र तथा अंग्रेजी साहित्य में एम.ए। दिल्ली विश्वविद्यालय के श्यामा प्रसाद मुखर्जी कॉलेज के अंग्रेजी विभाग में एसोसिएट प्रोफेसर रह चुकी हैं और शिमला स्थित इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ एडवांस्ड स्टडीज की एसोसिएट फैलो रह चुकी हैं। सभी राष्ट्रीय पत्र-पत्रिकाओं में रचनाएं प्रकाशित। चार कहानी-संग्रह प्रकाशित। दो कहानी संकलनों का संपादन। कृष्णा सोबती, पाउलो कोएल्हो तथा अगाथा क्रिस्टी के उपन्यासों सहित कुछ अन्य पुस्तकों के अनुवाद।
कहानी: हिंदी पखवाड़े में लोकभाषा हितैषी

कहानी: हिंदी पखवाड़े में लोकभाषा हितैषी

साहिर लुधियानवी के हिन्दी गीत के संकलन का संपादन। साहिर लुधियानवी : मेरे गीत तुम्हारे हैं नाम से एक और पुस्तक प्रकाशनाधीन। सभी प्रमुख पत्र-पत्रिकाओं में कहानियां और गजलें प्रकाशित। साहित्य से इतर पर्यावरण पर भी लेखन। पिछले चार वर्षों से साहिर लुधियानवी के गीतों का डॉक्युमेंटेशन और ब्लॉग लेखन। गढ़वाली भाषा और संस्कृति पर सक्रिय संस्था ‘धाद’ से संबद्ध।
इस्मत चुगताई की कहानी 'लिहाफ'

इस्मत चुगताई की कहानी 'लिहाफ'

उर्दू की प्रसिद्ध लेखिका इस्मत चुगताई का जन्म 15 अगस्त 1915 को बदायूं, उत्तर प्रदेश में हुआ था। वह इस्मत आपा के नाम से मशहूर हुईं। उनके लेखन के साथ कई विवाद भी जुड़े रहे। वह बहुत विद्रोही लेखिका थीं और उन्होंने महिलाओं के बारे में खूब लिखा और उनके हक में सवाल उठाए। उनकी कहानियों में लड़कियों की मनोदशा और सच्चाई खूब अच्छी तरह से बयान हुए। उनकी कहानी लिहाफ के लिए लाहौर हाईकोर्ट में उन पर अश्लीलता का मुकदमा चलाया था, जो बाद में खारिज हो गया। 24 अक्टूबर 1991 को उनका निधन हुआ। सन 2015 में हम उनकी जन्मशताब्दी मना रहे हैं। उनकी मशहूर कहानी लिहाफ पाठकों के लिए।
विश्वास दरकने की कहानी - कांच की दीवार

विश्वास दरकने की कहानी - कांच की दीवार

रेडियो के विदेश प्रसारण प्रभाग में कार्यरत जापान में रह रहीं नीलम मलकानिया रेडियो जापान की हिंदी सेवा में कार्यरत हैं। पंजाब में जन्मीं नीलम दिल्ली विश्वविद्यालय से स्नातक और हिंदी साहित्य और रंगमंच में स्नातकोत्तर हैं। कॉलेज के समय से पत्र-पत्रिकाओं के लिए लिखती रही हैं। दिल्ली और मुंबई में कई नाटकों के मंचन में मंच पर और मंच-परे सक्रिय भूमिका निभाने वाली नीलम ने रेडियो लेखन में डिप्लोमा किया है। ऑल इंडिया रेडियो के नाट्य एकांश में रांगेय राघव, सत्यजीत रे, रवीन्द्र नाथ ठाकुर की रचनाओं का रेडियो नाट्य रूपांतरण पेश कर चुकीं नीलम 'बी हाई ग्रेड' कलाकार हैं।
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