पाउलो कोएलो की 11 मिनट्स किताब जिन लोगों ने पढ़ी है उन्हें इन 11 मिनट्स की उपयोगिता पता होगी। हाल ही में आई एक शॉर्ट फिल्म ने मजाकिया अंदाज में धूम्रपान से जोड़ कर अच्छा संदेश दिया है।
केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने आज यह दावा कर राजनीतिक विवाद पैदा कर दिया कि जेएनयू में पिछले दिनों संसद पर हमले के दोषी अफजल गुरू की फांसी के विरोध में हुए कार्यक्रम को आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक हाफिज सईद का समर्थन मिला था। राजनाथ के बयान के तुरंत बाद विपक्षी पार्टियों ने मांग की कि गृह मंत्री जेएनयू परिसर में हुए कार्यक्रम को लेकर किए गए अपने दावे को साबित करने के लिए सबूत दें।
दिल को छू लेने वाली कश्मीरियत की मिसाल कायम करते हुए दक्षिण कश्मीर में कुलगाम जिले के एक गांव के मुसलमानों ने एक कश्मीरी पंडित का अंतिम संस्कार किया। यह कश्मीरी पंडित आतंकवादियों के खतरे के कारण घाटी छोड़ने की बजाए अपनी जड़ों से चिपका रहा। उसने घाटी छोड़ कहीं और बसने का प्रस्ताव ठुकरा दिया था जबकि उसके सभी परिजन घाटी से पलायन कर गए।
आतंकवादी संगठन आईएसआईएस से कथित संबंधों को लेकर देश भर से गिरफ्तार 12 संदिग्धों को एनआईए ने आज एक विशेष अदालत में पेश किया। जहां से अदालत ने सभी संदिग्धों को पांच फरवरी तक एनआईए की हिरासत में भेज दिया। विशेष एनआईए न्यायाधीश अमर नाथ की अदालत में इन 12 आरोपियों को पेश किया गया था। जिन्होंने सभी संदिग्धों को11 दिन की एनआईए हिरासत में भेज दिया। एजेंसी ने अपने आवेदन में कहा कि भारत में आईएसआईएस के प्रसार की साजिश का पर्दाफाश करने के लिए उन सभी को हिरासत में लेकर पूछताछ करने की आवश्यक्ता है। कड़ी सुरक्षा के बीच जब आरोपियों को अदालत में पेश किया गया तो उनका चेहरा ढका हुआ था।
डिब्रुगढ़-नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस ट्रेन में गत रविवार को एक दंपति के साथ कथित दुर्व्यवहार मामले में जदयू के निलंबित विधायक सरफराज आलम को दो अन्य लोगों के साथ आज गिरफ्तार कर लिया गया। हालांकि बाद में विधायक सहित अन्य दोनों आरोपियों को सशर्त जमानत मिल गई।
रवीन्द्र का की ख्याति एक उपन्यासकार, कहानीकार के अलावा बहुत अच्छे चुस्त संपादक के रूप में थी। उन्होंने एक पूरी साहित्य जगत में एक पूरी पीढ़ी खड़ी की। भारतीय ज्ञापनीठ की पत्रिका नया ज्ञानोदय के अलावा वह भारतीय भाषा परिषद की पत्रिका वागर्थ के भी संपादक रहे। 11 नवंबर 1939 को जालंधर में जन्में रवीन्द्र कालिया ने धर्मयुग से अपनी पारी शुरू की थी। उनकी कई कहानियां चर्चित हैं। नौ साल छोटी बीवी, खोटे सिक्के, त्रास ऐसी कहानियां हैं जो पाठकों के दिलो-दिमाग पर हमेशा छाई रहेंगी। पिछले दिनों लंबी बीमारी के बाद इस यशस्वी संपादक ने दुनिया को अलविदा कह दिया।
दिल्ली में चल रहे विश्व पुस्तक मेले में अतिथि देश चीन के प्रकाशकों ने गुरूदेव रवींद्र नाथ टैगोर और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर चीनी लेखकों की किताबें पेश की हैं।
अर्जेंटिना सरकार के सहयोग से रवीन्द्र नाथ टैगोर पर बन रही है। इस फिल्म में रवीन्द्र नाथ टैगोर और अर्जेंटिना की प्रसिद्ध लेखिका विक्टोरिया के बीच पत्राचार और उनकी यात्रा की कहानी है। सूरज कुमार भारत के निर्माता की हैसियत से इस फिल्म से जुड़ रहे हैं।