अभिनेत्री और भारतीय जनता पार्टी की सदस्य रूपा गांगुली को आज राज्यसभा के लिए मनोनीत किया गया। रूपा ने लोकप्रिय धारावाहिक महाभारत में द्रौपदी का किरदार अदा किया था।
यूपी में अखिलेश यादव अपने पिता मुलायम सिंह यादव से अधिक लोकप्रिय हैं। यह तथ्य मुलायम परिवार में छिड़ घमासान के बाद सी वोटर के सर्वे में सामने आया है। ताजा विवाद के बाद हुए सर्वे के अनुसार अखिलेश उत्तर प्रदेश में अपने पिता के मुकाबले बहुत अधिक लोकप्रिय हैं। सर्वे प्रदेश की 403 सीटों पर लगभग 11 हजार लोगों के बीच किया गया। इसके अनुसार शिवपाल सिंह यादव की लोकप्रियता लोगों के बीच काफी कम है।
जागरण फिल्म महोत्सव का सातवां संस्करण मुंबई पहुंचेगा जहां इसकी शुरूआत 26 सितंबर को अत्यधित प्रशंसित फिल्म रोड टू इस्तांबुल से होगी। इस दौरान हाल की लोकप्रिय भारतीय फिल्मों का भी प्रदर्शन होगा।
भारतीय व्यंजनों की बात करें तो इसमें हर वो बात है, जो इसे अंतरराष्ट्रीय स्तर के व्यंजनों के मामले में सबसे आगे रख सकता है। पूरी दुनिया के व्यंजनों के शौकीन लोगों को भारतीय जायका काफी भाता है और यही वजह है कि यह चीनी व्यंजनों की तुलना में लगातार लोकप्रिय हो रहा है।
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मोदी सरकार पर जमकर हमला बोला और आरोप लगाया कि सत्ता के लालच में वह लोकप्रिय जनादेश का अनादर कर रही है और चुनी हुई सरकारों को गिराने के लिए संविधान की धज्जियां उड़ा रही है।
दक्षिण कैरोलिना की लोकप्रिय गवर्नर निक्की हेली ने उपराष्ट्रपति पद के चुनाव के लिए उनके दावेदारी पेश करने की संभावना को खारिज कर दिया है लेकिन उन्होंने कहा कि वह चुनाव में अपनी पार्टी के उम्मीदवार के लिए मतदान करेंगी।
बॉलीवुड अदाकारा ऐश्वर्या राय बच्चन ने अभिनेता सलमान खान को आगामी रिओ ओलंपिक्स के लिए भारतीय दल का सद्भावना दूत बनाए जाने का समर्थन किया है। गौरतलब है कि ऐश्वर्या राय कभी सलमान खान की प्रेमिका रह चुकी हैं।
हिन्दी फिल्म अभिनेत्री प्रियंका चोपड़ा के सितारे काफी बुलंद चल रहे हैं। हाल ही में शुरू हुए अमेरिकी टीवी सीरिज क्वांटिको में अपनी भूमिका के लिए सराहना हासिल करने वाली प्रियंका अब जल्द ही 1990 के दशक में आई लोकप्रिय टीवी सीरिज बेवाच के फिल्म संस्करण में नजर आएंगी।
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अमेरिकी साम्राज्यवाद और राष्ट्रीय स्तर पर नरेंद्र मोदी-मार्का हिंदुत्ववादी फासीवाद के मौजूदा वर्चस्व के दौर में वीरेन डंगवाल (1948-2015) की कविता किसी आत्मीय, जीवंत, वामपंथी प्रतिज्ञा की तरह सामने आती है।