राजधानी दिल्ली के ऐतिहासिक अक्षरा थियेटर से संकट के बादल छंट गए हैं और फिलहाल यह थियेटर बंद नहीं होगा। इस थियेटर के बकाया बिजली बिल को चुकाने के लिए एक दान अभियान के जरिये आवश्यक धन जुटा लिया गया है और जरूरी कार्रवाई के लिए केंद्र तथा राज्य सरकारों से संपर्क किया गया है।
जाट आंदोलन के कारण हरियाणा से जल आपूर्ति में कटौती किए जाने पर दिल्ली सरकार ने कल राजधानी में स्कूलों को बंद रखने की घोषणा की है। यह घोषणा जल संकट से निपटने के लिए शहर में पानी के नियंत्रित वितरण की नीति के तहत की गई है।
पाकिस्तानी गुप्तचर एजेंसी आईएसआई द्वारा आतंकवादी संगठनों लश्करे तैयबा और जैशे मोहम्मद के आतंकवादियों को प्रशिक्षण देने संबंधी पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ की स्वीकारोक्ति का इस्तेमाल करते हुए भारत ने आज पाकिस्तान सरकार से जुड़े तत्वों से कहा कि वे क्षेत्र में आतंकवाद का समर्थन बंद करें।
‘ जब देश के गृहमंत्री दुनिया के सामने कहते हैं कि आईएस भारत में कभी अपनी जड़े नहीं जमा सकता क्योंकि भारतीय मुसलमान उसे पनपने ही नहीं देंगे तब लगातार मुसलमान नौजवानों को आईएस और अलकायदा से ताल्लुक रखने के आरोप में गिरफ्तार क्यों किया जा रहा है? क्या यह मुसलमानों को डराने की साजिश नहीं, इससे मुल्क का माहौल नहीं बिगड़ेगा?’ दिल्ली में देश के तमाम बड़े मुस्लिम सगंठनों ने एक प्रैस वार्ता में यह सवाल पूछा।
माइक्रो ब्लॉगिंग साइट ट्विटर ने 125000 अकाउंटों को बंद कर दिया है। इन अकाउंटों को आतंकवादी कृत्यों को प्रोत्साहित करने या दहशत फैलाने की वजह से बंद किया गया है। बंद हुए अकाउंटों में से अधिकतर अकाउंट इस्लामिक स्टेट आतंकवादी समूह से जुड़े थे।
शिवसेना ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को ब्रिटेन की सरकार से सीखने की नसीहत दी है, जिसने ब्रिटेन में अपने पति के साथ जीवनसाथी वीजा पर रह रहीं महिलाओं को अंग्रेजी न बोल पाने पर उनके देश वापस भेजने की चेतावनी दी है। इसके साथ ही शिवसेना ने यह भी कहा है कि भारत के मदरसों में पढ़ाई के माध्यम के रूप में उर्दू और अरबी का इस्तेमाल बंद किया जाना चाहिए और उनका स्थान अंग्रेजी या हिंदी को दिया जाना चाहिए।
दिल्ली उच्च न्यायालय ने जनता को हो रही असुविधा की बात कहते हुए दिल्ली की आम आदमी पार्टी सरकार से पूछा है कि वह सम-विषम योजना को एक सप्ताह तक के लिए सीमित क्यों नहीं कर सकती? उच्च न्यायालय ने दिल्ली सरकार से कहा, आपको यह मानना होगा कि आपके पास जनता को लाने-ले जाने के लिए पर्याप्त सार्वजनिक परिवहन नहीं है।