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Search Result : "Stuck in disputes"

राफेल ही नहीं इन सौदों पर भी हुआ था हंगामा, मोदी से पहले नेहरू और राजीव सरकार पर भी उठे थे सवाल

राफेल ही नहीं इन सौदों पर भी हुआ था हंगामा, मोदी से पहले नेहरू और राजीव सरकार पर भी उठे थे सवाल

संसद में शीतकालीन सत्र जारी है। लेकिन राफेल सौदे पर सरकार और विपक्ष के बीच चल रही बहस से सदन की गर्मी...
यूपी: स्टिंग आपरेशन में फंसे तीन मंत्रियों के निजी सचिव, प्रमुख सचिव विधानसभा ने दिए जांच के आदेश

यूपी: स्टिंग आपरेशन में फंसे तीन मंत्रियों के निजी सचिव, प्रमुख सचिव विधानसभा ने दिए जांच के आदेश

उत्तर प्रदेश सरकार भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने को जितने जतन कर रही है, उतने ही भ्रष्टाचार का स्वरूप...
लिट्टे से रिश्ता और जयललिता से दुश्मनी? एम करुणानिधि का इन पांच विवादों से रहा नाता

लिट्टे से रिश्ता और जयललिता से दुश्मनी? एम करुणानिधि का इन पांच विवादों से रहा नाता

तमिलनाडु की राजनीति में लगभग सात दशकों तक राज करने वाले एक बड़े स्तंभ एम करुणानिधि ने दुनिया को अलविदा...
डॉ. कलाम का फर्जी बयान पोस्ट कर परेश रावल ने कराई फजीहत

डॉ. कलाम का फर्जी बयान पोस्ट कर परेश रावल ने कराई फजीहत

जाने-माने अभिनेता और भाजपा सांसद परेश रावल इस बार पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम का फर्जी बयान ट्विटर पर शेेयर कर आलोचकों के निशाने पर आ गए हैं।
पाकिस्तान में फंसी भारतीय महिला के मामले में विदेश मंत्री ने रिपोर्ट तलब की

पाकिस्तान में फंसी भारतीय महिला के मामले में विदेश मंत्री ने रिपोर्ट तलब की

विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने पाकिस्तान में हैदराबाद की एक महिला के फंसे होने और उसे कथित तौर पर प्रताड़ित करने की खबरों पर पाकिस्तान में तैनात भारतीय उच्चायुक्त से ब्योरा मांगा है।
अपनों की असहमति को सलाम। आलोक मेहता

अपनों की असहमति को सलाम। आलोक मेहता

आप इस शीर्षक से असहमत हो सकते हैं। इसे शिरोधार्य करना हमारा भी कर्तव्य है। सामान्यतः मीडिया असहमतियों को विद्रोह, धमाके, टूट, बिखराव, टकराव की तरह पेश करता है। इसकी वजह यही है कि धीरे-धीरे समाज में असहमतियों को विरोध की तरह अनुचित माना जाने लगा है। महात्मा गांधी या अब्राहम लिंकन, जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी (आपातकाल के अपवाद को छोड़कर), अटल बिहारी वाजपेयी जैसे नेताओं ने यदि असहमतियों, अपनों की कड़वी खरी-खोटी नहीं सुनी होती तो, राजनीतिक दलों या लोकतांत्रिक सरकारों में संभवतः कई महत्वपूर्ण फैसले ही नहीं हो पाते।
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