चीन की सत्ताधारी कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ चीन (सीपीसी) ने सोवियत संघ के विघटन का हवाला देते हुए राष्ट्रपति शी चिनफिंग की पार्टी पर गहरी होती पकड़ को उचित ठहराया है।
अमेरिका के एक प्रमुख अखबार में छपी एक खबर से राष्ट्रपति बनने के लिए बेताब डोनाल्ड ट्रंप की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। अखबार में छपी रिपोर्ट में दावा किया गया है कि रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप संभवत: करीब दो दशक तक कर चुकाने से बचते रहे हैं।
किंगफिशर एयरलाइंस से 9,000 करोड़ रुपये के बकाया का एक हिस्सा वसूलने के लिए एयरलाइंस के ट्रेडमार्क, लोगो और कभी काफी लोकप्रिय रही टैग लाइन, फ्लाई द गुड टाइम्स को नीलाम करने की बैंकों की कोशिश आज एक बार फिर नाकाम हो गई। हालांकि इस बार इसके लिए आरक्षित मूल्य कम करते हुए 330.03 करोड़ रुपये रखा गया था।
टाइम्स नाउ में मंगलवार को प्रसारित हुए अर्नब गोस्वामी के शो में कश्मीर पर वार्ता में पाकिस्तान को शामिल करने का समर्थन करने को लेकर परिचर्चा की गई। इस शो में संपादक अर्नब गोस्वामी के मीडिया के प्रति नकारात्मक रवैये को लेकर एनडीटीवी की बरखा दत्त ने उन पर हमला बोला है।
दक्षिण चीन सागर में चीन के दावों पर अंतरराष्ट्रीय न्यायाधिकरण के फैसले से पहले राष्ट्रीय एकजुटता का आह्वान करते हुए चीन की सरकारी मीडिया ने अमेरिका और जापान के खिलाफ अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा है कि चीन को सतर्क रहना चाहिए।
चीन द्वारा एनएसजी में प्रवेश बाधित करने को लेकर भारत की कड़ी प्रतिक्रियाओं के बीच चीन के एक सरकारी समाचार पत्र ने कहा है कि भारत अब भी 1962 के युद्ध की मानसिकता मे अटका हुआ है। समाचार पत्र ने बीजिंग के रुख का अधिक तथ्यपरक मूल्यांकन किए जाने की अपील की।
अभी टाइम्स नाऊ के एडिटर इन चीफ अरनब गोस्वामी द्वारा लिए गए पीएम मोदी के इंटरव्यू पर बहस समाप्त ही नहीं हुई थी कि पीएम माेदी के एक और इंटरव्यू की चर्चा सोशल मीडिया में चर्चा का केंद्र बन गई है। यूएई में रहने वाले एक जर्नलिस्ट ने मोदी का इंटरव्यू लेने का अनुभव फेसबुक पर शेयर किया है। जिसमें उन्होंने कहा कि पीएम मोदी इंटरव्यू से पहले सवाल अपने पास मंगाते हैं।
मीडिया के कुछ लोगों को तो पूर्वाग्रही कहा जा सकता है और प्रतियोगी भाव कि प्रधानमंत्री ने अर्णब गोस्वामी को ही पहले इंटरव्यू के लिए क्यों चुना? हम जैसे पत्रकार मानते हैं कि यह अर्णब गोस्वामी की बड़ी सफलता है, जो प्रधानमंत्री को अपने चैनेल को इंटरव्यू के लिए तैयार कर सके। इसी तरह नरेंद्र मोदी ने भी पुराने ढर्रे को त्यागकर दूरदर्शन अथवा लोक सभा, राज्य सभा टी.वी. चैनलों के बजाय एक निजी चैनल को इंटरव्यू देने का फैसला कर नया अध्याय जोड़ा। यूं उनकी सरकार दावा यही करती है कि प्रसार भारती के दूरदर्शन चैनल की पहुंच दूरदराज के गांवों सहित देश के हर कोने में है, जहां निजी अंग्रेजी चैनल तो क्या हिंदी चैनल की पहुंच भी नहीं है।
प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेंद्र मोदी ने पहली बार भारतीय मीडिया को इंटरव्यू दिया। जिस पर सोशल मीडिया में चर्चा जारी है। अधिकांश लोगों की राय है कि ज्वलंत मसलों पर टाइम्स नाउ के अर्नब गोस्वामी ने पीएम मोदी को अटैैक नहीं किया। लिहाजा यह इंटरव्यू भी एक खानापूर्ति ही साबित होकर रह गया।
प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेंद्र मोदी ने अपने पहले इंटरव्यू में टाइम्स नाऊ के एंकर अर्णब गोस्वामी से कई मुद्दों पर बातें साझा कीं। विदेश नीति से लेकर जन धन योजना पर मोदी खुल कर बोले।