वैश्वीकरण का लाभ केवल दुनिया के धनी लोगों को ही मिलने को लेकर बढ़ती चिंताओं के बीच भारत के सबसे धनी उद्योगपति मुकेश अंबानी ने खुली बाजार अर्थव्यवस्था का पक्ष लिया और कहा कि संपत्ति सृजन को रोका नहीं जाना चाहिये क्योंकि समाज में संपत्ति वितरण के लिये संपत्ति सृजन जरूरी है। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि भारत चौथी औद्योगिक क्रांति और औद्योगिक नवप्रवर्तन के लिये तैयार है।
दावोस में विश्व आर्थिक मंच की शुरूआत से पहले, ऑक्सफेम ने आज कहा कि आठ व्यक्तियों के पास उतनी संपत्ति है जितनी दुनिया की आधी आबादी के पास है और इससे हमारे समाजों में विभाजन का खतरा पैदा होता है।
भारत की कुल 58 प्रतिशत संपत्ति पर देश के मात्र एक प्रतिशत अमीरों का आधिपत्य है जो देश में बढ़ती आय विषमता की ओर संकेत करता है। यह आंकड़ा वैश्विक 50 प्रतिशत के आंकड़े से अधिक है। यह बात एक नए अध्ययन में सामने आई है।
उद्योगपति मुकेश अंबानी लगातार नौंवे साल देश के सबसे अमीर व्यक्ति का तमगा हासिल करने में सफल रहे हैं। फोर्ब्स इंडिया के अनुसार अंबानी की कुल संपत्ति तेजी से बढ़ती हुई 22.7 अरब डॉलर पर पहुंच गई। इस तरह अंबानी की परिसंपत्तियां एस्टोनिया की सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) के बराबर हो गई।
तमिलनाडु में कावेरी मुद्दे पर किसानों और विपक्षी दलों ने केंद्र से तुरंत कावेरी प्रबंधन बोर्ड (सीएमबी) की स्थापना की मांग करते हुए विभिन्न जगहों पर रेलो को रोक कर धरना और प्रदर्शन किया।
अगले साल गुजरात में होने वाले विधानसभा चुनावों में अपनी स्थिति जानने के लिए कांग्रेस पार्टी ने हाल ही में एक गुप्त सर्वे कराया। मिली जानकारी के अनुसार पार्टी के कराए सर्वे में भाजपा को बहुमत मिलता दिख रहा है।
हज के लिए सऊदी अरब पहुंचे दुनिया भर के लाखों मुसलमान हज से जुड़े अरकानों (धार्मिक रीति रिवाज) को एक-एक कर पूरा करते हुए रविवार को अराफात की पहाड़ी पर पहुंचे। इस पहाड़ी पर इबादत को हज के दरम्यान का एक अहम पड़ाव माना जाता है। पिछले साल की भगदड़ की त्रासदी के बाद इस बार व्यापक प्रबंध किए गए हैं।
दुनिया में भारत दूसरा सबसे ज्यादा असमानता वाला देश है। भारत में कुल संपत्ति की आधी से अधिक सम्पत्ति ऐसे धनाढ्यों के हाथ में केंद्रित है जिनकी हैसियत दस लाख डॉलर (लगभग 6.7 करोड़ रुपए) से अधिक की है। यह जानकारी एक रिपोर्ट में दी गई है।
महंगाई, बेरोजगारी और गरीबी के लिए हाय-हाय करती जनता के लिए अच्छी खबर है कि विश्व संपन्नता रिपोर्ट के मुताबिक भारत में 2025 तक करोड़पतियों की संख्या दो गुनी हो जाएगी। यह संख्या अभी 2 लाख 36 हजार है।