इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) 2020 के 9वें मुकाबले में राजस्थान रॉयल्स ने किंग्स इलेवन पंजाब को चार विकेट से हरा दिया। पंजाब ने पहले खेलते हुए मयंक अग्रवाल के दमदार शतक की बदौलत 20 ओवर में तीन विकेट के नुकसान पर 223 रन बनाए थे। इसके जवाब में जवाब में राजस्थान ने संजू सैमसन 85 और राहुल तेवतिया 53 की बेहतरीन पारियों की बदौलत तीन गेंद पहले ही लक्ष्य का पीछा कर लिया।
किंग्स इलेवन पंजाब ने जब 223 रनों का स्कोर बनाया और राजस्थान रॉयल्स को आखिरी पांच ओवर में 84 रनों की जरूरत थी तो लग रहा था कि मैच गया। हालांकि ग्लेन मैक्सवेल के अगले ओवर में संजू सैमसन ने तीन छक्के लगाए लेकिन मोहम्मद शमी ने सैमसन को आउट कर राजस्थान की उम्मीदों पर ब्रेक लगा दिया। पिंच हिटिंग के लिए भेजे गए राहुल तेवतिया गेंद को हिट नहीं कर पा रहे थे। लेकिन एक बार जब गेंद उनके बल्ले पर आना शुरू हुई तो फिर कमाल ही हो गया। तेवतिया ने एक ओवर में पांच छक्के जड़ दिए।
राजस्थान रॉयल्स को एक अविश्वसनीय आईपीएल मैच में किंग्स इलेवन पंजाब को हराने में मदद करने के लिए एक ओवर में पांच छक्के लगाने वाले राहुल तेवतिया ने कहा कि वह हमेशा विश्वास करते रहे कि वह अपनी पारी में शुरुआत में संघर्ष करने के बावजूद उपलब्धि हासिल कर सकते हैं।
तेवतिया की दमदार पारी
चौथे नंबर पर बैटिंग करने आए राहुल तेवतिया शुरुआत में एक-एक रन के लिए तरस रहे थे। तेवतिया ने अपने पहले 8 रन 19 गेंदों पर बनाए थे।. संजू सैमसन के आउट होने के बाद हर किसी ने राजस्थान से जीत की उम्मीदें लगभग छोड़ दी थी। लेकिन उसने एक ओवर में मैच का पासा पलट दिया। उन्होंने शेल्डन कॉटरेल के एक ही ओवर में 5 छक्के लगा कर राजस्थान को हारी बाजी में जीत दिला दी। तेवतिया ने 31 गेंदों पर 53 रनों की ताबड़तोड़ पारी खेली।
हर जगह हो रही तेवतिया की तारीफ
शेल्डन कॉटरेल के एक ही ओवर में 5 छक्के लगातार जड़ कर राजस्थान को हारी बाजी में जीत दिलाने वाले राहुल तेवतिया की अब हर जगह तारीफ हो रही है। हर कोई अपने-अपने अंदाज में तेवतिया की तारीफ कर रहा है। टीम इंडिया के पूर्व विस्फोटक बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ने मैच के बाद कहा कि राहुल तेवतिया पर बैटिंग के दौरान 'माता सवार' हो गई। सहवाग ने ट्वीट किया, ' हीरो पैदा नहीं होते बनते हैं। तेवतिया में माता आ गई। क्या जोरदार वापसी की है। यही है क्रिकेट और यही है जीवन, मिनटों में सबकुछ बदल जाता है। बस खुद को हारने मत दो। अगर अपनी कामयाबी पर यकीन किया जाए तो उंगलियां उठाने वाले भी तालियां बजाना शुरू कर देते हैं।'