पीटीआई की एक रिपोर्ट के मुताबिक, पाकिस्तान क्रिकेट टीम के मुख्य कोच मिकी ऑर्थर ने सरफराज अहमद को कप्तानी से बर्खास्त करने के लिए पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) की क्रिकेट समिति को सिफारिश की है। साथ ही माना जा रहा है कि परिणाम देने के लिए आर्थर ने दो और साल भी मांगे हैं। समिति ने विश्व कप सहित पिछले तीन वर्षों में टीम के प्रदर्शन की समीक्षा की।
कमेटी ने इसी साल इंग्लैंड और वेल्स में खेले गए वर्ल्ड कप का भी आंकलन किया, जिसमें पाकिस्तान की टीम सेमीफाइनल से पहले ही बाहर हो गई थी। सूत्रों की मानें तो मिकी आर्थर ने कप्तान सरफराज अहमद को कप्तानी से हटाने की सिफारिश करते हुए एक नया नाम भी सुझाव के तौर पर पेश किया है।
शादाब खान को बनाना चाहते हैं नया कप्तान
मिकी आर्थर चाहते हैं कि सरफराज अहमद की जगह शादाब खान टी-20 और वनडे के लिए पाकिस्तान टीम के कप्तान बनें। इसके अलावा टेस्ट टीम के लिए पाकिस्तान की कमान बाबर आजम को सौंपी जाए। मिकी आर्थर ने कप्तान सरफराज अहमद की कमियों के बारे में भी बोर्ड से बखान किया है।
2016 के मध्य से कोच हैं
सूत्र ने बताया कि आर्थर ने सदस्यों को सरफराज की कप्तानी के कौशल के बारे में कुछ नकारात्मक बाते बताई। पीसीबी के प्रबंध निदेशक वसीम खान की अध्यक्षता में बनाई गई समिति के मुताबिक आर्थर ने कहा कि मुझे पाकिस्तान टीम के साथ दो और साल चाहिए और मैं उल्लेखनीय परिणाम दे सकता हूं। बता दें कि 2016 के मध्य से ही मिकी आर्थर पाकिस्तान टीम के कोच हैं।
इनके कार्यकाल में 2017 में भारत को हराकर आइसीसी चैंपियंस ट्रॉफी जीती थी
बतौर मुख्य कोच मिकी आर्थर की पाकिस्तान को दिलाई गई उपलब्धियों पर नजर डालें तो पाकिस्तान ने साल 2017 में भारत को हराकर आइसीसी चैंपियंस ट्रॉफी जीती थी। इसके अलावा काफी समय से पाकिस्तान की टीम टी-20 इंटरनेशनल क्रिकेट की आइसीसी रैंकिंग में नंबर एक स्थान पर काबिज है। हालांकि, वनडे और टेस्ट में टीम का इतना अच्छा प्रदर्शन नहीं रहा है।
टीम के फील्डिंग कोच को हटाने से गिरा प्रदर्शन
बता दें कि पाकिस्तान टीम के मौजूदा कोच मिकी आर्थर और बाकी सपोर्ट स्टाफ का कार्यकाल इसी 15 अगस्त को समाप्त हो रहा है। सूत्रों ने ये भी बताया है कि मिकी आर्थर ने पीसीबी की क्रिकेट कमेटी के सामने अपना पक्ष रखते हुए बताया था कि क्यों पाकिस्तान टीम का प्रदर्शन गिरा है। इस बारे में मिकी आर्थर ने बताया कि टीम के फील्डिंग कोच को हटाने के बाद से ही टीम का फील्डिंग स्तर गिरा है, जो प्रदर्शन में काफी मायने रखता है। हालांकि, पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के अधिकारी इस पक्ष से इत्तेफाक नहीं रखते।