न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा, न्यायमूर्ति ए. एम, खानविलकर और न्यायमूर्ति धनंजय वाई चंद्रचूड की तीन सदस्यीय खंडपीठ ने कहा कि चूंकि श्रीनिवासन को शीर्ष अदालत हितों के टकराव का दोषी ठहरा चुकी है, इसलिए उन्हें आईसीसी की बैठक में बीसीसीआई का प्रतिनिधित्व करने की इजाजत नहीं दी सकती।
पीठ ने अपने आदेश में कहा, यह निर्देश दिया जाता है कि अमिताभ चौधरी आईसीसी की बैठक में बीसीसीआई का प्रतिनिधित्व करेंगे और राहुल जौहरी उनके साथ जायेंगे और वह (जौहरी) मुख्य कार्यकारी अधिकारियों की बैठक में भी शामिल होंगे।
शीर्ष अदालत ने 10 अप्रैल को कहा था कि एक व्यक्ति, जो बीसीसीआई और राज्य क्रिकेट संगठनों , का पदाधिकारी बनने के अयोग्य है, उसे आईसीसी की बैठकों में शामिल होने के लिये नामित नहीं किया जा सकता। न्यायालय ने यह टिप्पणी उस वक्त की थी जब शीर्ष अदालत द्वारा नियुक्त प्रशासकों की समिति के वकील ने एक सवाल के स्पष्टीकरण हेतु दायर अंतरिम अर्जी पर सुनवाई का अनुरोध किया था। समिति जानना चाहती थी कि क्या उन व्यक्तियों को, जिन्हें 18 जुलाई के फैसले के अनुसार क्रिकेट के संगठनों में कोई भी पद लेने के अयोग्य घोषित किया जा चुका है, आईसीसी की बैठक में बीसीसीआई का प्रतिनिधित्व करने के लिये मनोनीत किया जा सकता है।