असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने सोमवार को धेमाजी में एक जनसभा के दौरान कांग्रेस पर तीखा प्रहार किया। उन्होंने अपनी सरकार की उपलब्धियों तथा कल्याणकारी योजनाओं को जनता के सामने रखा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को अब अपने चुनाव चिन्ह 'हाथ' को बदलकर 'लुंगी' कर लेना चाहिए। सरमा ने आरोप लगाया कि कांग्रेस के शासनकाल में जनता को विकास की बजाय सिर्फ लुंगी, धोती, धागा और मच्छरदानी ही मिले।
उन्होंने सवाल उठाया, "क्या कांग्रेस के कार्यकाल में कॉलेजों में मुफ्त प्रवेश था? नहीं। क्या कक्षा 10 का फॉर्म भरने के लिए शुल्क लगता था? हां। क्या निजुत मोइना योजना थी? ओरुनोडोई योजना थी? मुफ्त चावल वितरण था? नहीं। क्या तटबंध मजबूती से बनाए गए थे या धेमाजी मेडिकल व इंजीनियरिंग कॉलेज उनके कार्यकाल में बने? नहीं।"
सीएम ने आगे कहा कि कांग्रेस ने राज्य के विकास की उपेक्षा की है। जबकि उनकी सरकार ने पिछले चार वर्षों में असम को एक नए विकास पथ पर अग्रसर किया है। सीएम सरमा ने कहा कि उनकी सरकार का लक्ष्य हर गांव को आदर्श गांव बनाना और सभी कल्याणकारी योजनाओं को मजबूती से लागू करना है।
मुख्यमंत्री सरमा ने यह भी दावा किया कि उनकी सरकार ने बिना किसी भ्रष्टाचार के 1.5 लाख सरकारी नौकरियां प्रदान की हैं। उन्होंने कहा, "अगर मैंने हर नौकरी के बदले 1 लाख रुपये लिए होते, तो मेरे पास 15,000 करोड़ रुपये होते। लेकिन हम असम के गरीब लोगों के लिए काम कर रहे हैं। हमें पैसे की जरूरत नहीं है, और जो रिश्वत लेते हैं, उन्हें बख्शा नहीं जाएगा। हमारे युवाओं को बिना किसी घूस के नौकरी मिलनी चाहिए।"
राज्य निर्वाचन आयोग के अनुसार, आगामी पंचायत चुनावों में कुल 21,920 ग्राम पंचायत सदस्य, 2,192 ग्राम पंचायत अध्यक्ष, 2,192 उपाध्यक्ष, 2,192 आंचलिक पंचायत सदस्य, 181 आंचलिक पंचायत अध्यक्ष, 181 उपाध्यक्ष और 397 जिला परिषद सदस्य चुने जाएंगे।
पंचायत चुनाव दो चरणों में 2 मई और 7 मई को कराए जाएंगे। जबकि वोटों की गिनती 11 मई को होगी। इस बार चुनाव में कुल 1.80 करोड़ से अधिक मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे, जिनमें 90.71 लाख पुरुष, 89.65 लाख महिलाएं और 408 अन्य मतदाता शामिल हैं। राज्यभर में कुल 25,007 मतदान केंद्र बनाए गए हैं।