Advertisement

Search Result : "अक्षय खन्ना"

पूर्व क्रिकेटर कीर्ति आजाद को मानहानि मामले में जमानत मिली

पूर्व क्रिकेटर कीर्ति आजाद को मानहानि मामले में जमानत मिली

दिल्ली की एक अदालत ने भाजपा से निलंबित सांसद और पूर्व क्रिकेटर कीर्ति आजाद तथा दो अन्य को मानहानि के एक मामले में शुक्रवार को जमानत दे दी। यह मामला अंडर-19 क्रिकेटर के पिता ने उनके बेटे के विजय हजारे ट्रॉफी के लिए टीम में चयन होने को लेकर गलत इरादों से झूठी बयानबाजी करने के आरोप में दर्ज कराया था। मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट हरविंदर सिंह ने आजाद, पूर्व क्रिकेटर सुरिंदर खन्ना और क्रिकेट से जुड़े समीर बहादुर में से प्रत्येक को 10,000 रुपये की निजी जमानत राशि और इसी धनराशि मुचलके पर राहत प्रदान की।
छुपा ‘रुस्तम’ अक्षय

छुपा ‘रुस्तम’ अक्षय

रुस्तम देखते हुए कई बातें दिमाग में एक साथ चलती हैं। सन 1959 में नानावटी केस पर बनी इस फिल्म को देखते हुए लगता है कि संपादन नीरज पांडे की फिल्मों की सबसे बड़ी खासियत है। शायद यही वजह है कि रुस्तम की धीमी कहानी भी पकड़ छूटने नहीं देती।
अक्षय ऊर्जा एक्सपों में दुनिया भर से जुटेंगे दिग्गज

अक्षय ऊर्जा एक्सपों में दुनिया भर से जुटेंगे दिग्गज

आजकल अक्षय ऊर्जा लेकर पूरी दुनिया में एक बहस चल रही है कि किस प्रकार से इसको और बढ़ावा दिया जाए। इसी क्रम में यूबीएम इंडिया ने अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में काम कर रहे दिग्गजों को एक मंच पर बुलाने की पहल की है।
राजेश खन्ना पर नसीर की टिप्पणी से बिफरीं ट्विंकल ने किया पटलवार

राजेश खन्ना पर नसीर की टिप्पणी से बिफरीं ट्विंकल ने किया पटलवार

वरिष्ठ अभिनेता नसीरूद्दीन शाह की राजेश खन्ना पर कथित टिप्पणी को लेकर ट्विंकल खन्ना ने पलटवार किया है। अपनी टिप्पणी में शाह ने कथित तौर पर कहा था कि 70 के दशक में हिंदी फिल्म उद्योग में मध्यम स्तर लाने के लिए राजेश खन्ना जिम्मेदार हैं।
दुनिया के सर्वाधिक कमाई करने वाले सितारों में शाहरूख-अक्षय शामिल

दुनिया के सर्वाधिक कमाई करने वाले सितारों में शाहरूख-अक्षय शामिल

बॉलीवुड के सुपरस्टार शाहरूख खान और अक्षय कुमार विश्व के उन सिलेब्रिटी में शामिल हैं, जिन्होंने वर्ष 2016 में सर्वाधिक कमाई की। फोर्ब्स द्वारा जारी इस सूची में शीर्ष पर अमेरिकी गायिका टेलर स्विफ्ट हैं जिनकी कमाई 17 करोड़ डॉलर रही।
‘हाउसफुल’ होना तो मुश्किल है

‘हाउसफुल’ होना तो मुश्किल है

अक्षय कुमार तो कई तरह की फिल्में करते रहते हैं। उनके लिए यह खतरा मोल लेना ठीक है कि वह हाउसफुल जैसी फिल्में कर लें लेकिन इस फिल्म के बाकी कलाकारों ने क्या सोच कर इस फिल्म में काम किया होगा यह तो वही जाने।
पंजाबः भाजपा में बड़ा फेरबदल, सांपला नए प्रदेशाध्यक्ष

पंजाबः भाजपा में बड़ा फेरबदल, सांपला नए प्रदेशाध्यक्ष

भाजपा हाईकमान ने पंजाब में बड़ा फेरबदल करते हुए केंद्रीय राज्य मंत्री होशियारपुर से सांसद विजय सांपला को नया प्रदेशाध्यक्ष बनाया है। हालांकि प्रदेशाध्यक्ष की इस दौड़ में अविनाश रॉय खन्ना, अश्वनी शर्मा और नवजोत सिंह सिद्धू भी थे।
अक्षय सौ करोड़ी की हैट्रिक से भी आगे

अक्षय सौ करोड़ी की हैट्रिक से भी आगे

अक्षय कुमार असली ‘खिलाड़ी’ साबित हो रहे हैं। एयरलिफ्ट को मिला लें तो यह चौथी फिल्म है जिसने सौ करोड़ रुपये का आंकड़ा पार किया है। हाउसफुल, राउडी राठौड़, हॉलीडे ने सौ करोड़ रुपये कमाए थे।
डीडीसीए मामले में कीर्ति आजाद ने नहीं लिया जेटली का नाम

डीडीसीए मामले में कीर्ति आजाद ने नहीं लिया जेटली का नाम

डीडीसीए में कथित भ्रष्टाचार के खिलाफ मुहिम चला रहे भाजपा सांसद कीर्ति आजाद ने आज एक पत्रकार सम्मेलन को संबोधित किया, लेकिन वित्त मंत्री अरुण जेटली का एक बार भी नाम नहीं लिया। हालांकि पहले उन्होंने दावा किया था कि जेटली के अध्यक्ष रहते ही इस क्रिकेट संस्था में वित्तीय गड़बडि़यां हुईं।
बीमारू से बिकाऊ प्रदेश तक - रिसर्जेंट राजस्थान

बीमारू से बिकाऊ प्रदेश तक - रिसर्जेंट राजस्थान

रिसर्जेंट राजस्थान पार्टनरशिप सम्मिट में देश दुनिया के धनकुबेरों का दो दिवसीय मिलन जयपुर में हुआ। राजस्थान सरकार द्वारा पूंजी निवेश को आकर्षित करने के उद्देश्य से किए गए इस आयोजन में 300 निवेश करार हुए जिनसे 4 लाख करोड़ का निवेश राज्य में आने की संभावना बनती दिखाई दे रही है। इतना ही नहीं बल्कि इससे ढाई लाख लोगों को रोजगार मिलने का भी दावा किया जा रहा है। अनुमान है कि रिसर्जेंट राजस्थान के इस आयोजन पर राज्य सरकार ने 200 करोड़ रुपये खर्च किया है। यह खर्च है कोई निवेश नहीं है। जनता की गाढ़ी कमाई का यह पैसा सिर्फ मेहमान नवाजी पर ही खर्च हो गया है। जयपुर की जनता को दो तीन दिन जो असुविधाएं झेलनी पड़ी वह तो अलग ही हैं। लोग पूछ रहे हैं कि जिस मुख्यमंत्री को अपने राज्य की जनता से मिलने तक कि फुर्सत नहीं होती है, कभी-कभार ही सभाओं में उनके दर्शन हो पाते हैं, वह पूंजीपतियों के मध्य कितनी आसानी से उपलब्ध हैं। यह अवसर राजस्थान के उन मतदाताओं को क्यों नहीं मिल पाता है जिन्होंने वोट दे कर प्रचंड बहुमत से उनकी सरकार चुनी है।
Advertisement
Advertisement
Advertisement