Advertisement

Search Result : "कानूनी कार्य ढांचा"

आवरण कथा- अवैध कमाई की चकाचौंध

आवरण कथा- अवैध कमाई की चकाचौंध

सुप्रीम कोर्ट ने मुंबई में डांस बार को इजाजत दी है। लेकिन महाराष्ट्र सरकार कड़े कानून ले आई है। इस कानून की आड़ में किसके हो रहे हैं पौ-बारह। मुंबई समेत महाराष्ट्र में डांस बार से पाबंदी हटाने के सुप्रीम कोर्ट के आदेश को अरसा बीत चुका है। लेकिन कानूनी तरीके से मुंबई में डांस बार अब तक शुरू नहीं हो पाए हैं।
बांग्लादेश: हिंसा के दो और मामलों में खालिदा जिया पर आरोप दर्ज

बांग्लादेश: हिंसा के दो और मामलों में खालिदा जिया पर आरोप दर्ज

बांग्लादेश में सत्ताधारी दल द्वारा विपक्ष और अन्य विरोधी समूहों के खिलाफ एक और कार्रवाई में पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया को हिंसा के दो और मामलों में आरोपी बनाया गया है। जिया की कानूनी मुश्किलें बढ़ाने वाले इन आरोपों में उन्हें हिंसा को उकसाने की जिम्मेदार बताया गया है।
अखिलेश बोले, समाजवादी नहीं होते तो गरीबों को एंबुलेंस नहीं मिलती

अखिलेश बोले, समाजवादी नहीं होते तो गरीबों को एंबुलेंस नहीं मिलती

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने बसपा सुप्रीमो मायावती पर बड़ा हमला करते हुए कहा है कि उन्होंने अपने शासनकाल में प्रदेश को बर्बाद कर दिया। अखिलेश ने यह भी कहा कि सूबे में मेरे जैसा काम किसाी सीएम नहीं किया है। उन्होंने कहा कि यूपी की सड़क एम्बुलेंस और डायल 100 का मुकाबला नहीं। डायल करो और 10 मिनट में पुलिस और एम्बुलेंस आपके पास हाजिर हो जाती है।
ईरान से भारत के मजबूत होते संबंधों पर अमेरिका की गहरी निगाह

ईरान से भारत के मजबूत होते संबंधों पर अमेरिका की गहरी निगाह

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ईरान यात्रा से भारत-ईरान के मजबूत होते रिश्तों पर अमेरिका बेहद करीब से नजर रख रहा है। चाबहार बंदरगाह के लिए 50 करोड़ डॉलर निवेश की भारत की घोषणा को लेकर ओबामा सरकार ने सांसदों से कहा है कि अमेरिका ईरान के साथ भारत के बढ़ते रिश्तों पर बहुत करीब से निगाह रख रहा है और देखेगा कि क्या इसके कानूनी पहलु और जरूरतें पूरी की गई हैं या नहीं।
येचुरी बोले, लोकतांत्रिक ढांचे को गिराने पर आमादा मोदी सरकार

येचुरी बोले, लोकतांत्रिक ढांचे को गिराने पर आमादा मोदी सरकार

माकपा नेता सीताराम येचुरी का मानना है कि मोदी सरकार देश के लोकतांत्रिक ढांचे को गिराने पर आमादा है। उनकी राय है कि भाजपा के हिंदू राष्‍ट्रवाद ने देश के सामाजिक ताने बाने को उलझाया है। इसकी आर्थिक नीतियों ने देश को कम और पूंजीवादी पाश्‍चात्‍य देशों को ज्‍यादा फायदा पहुंचाया है। पार्टी ने संसदीय लोकतंत्र पर हमला करते हुए देश की संवैधानिक संस्‍थानों का मखौल उड़ाया है।
भारत, अमेरिका कार्य वीजा शुल्क में बढ़ोतरी पर करेंगे बातचीत

भारत, अमेरिका कार्य वीजा शुल्क में बढ़ोतरी पर करेंगे बातचीत

भारत और अमेरिका के बीच कल से विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) के तहत दो दिन की द्विपक्षीय वार्ता शुरू होगी। यह बातचीत अमेरिका द्वारा अस्थायी कार्य वीजा के लिए उच्च शुल्क लगाने के मुद्दे पर हो रही है।
लोकसभा स्पीकर ने कहा, क्या अब सांसदों को बात करना भी सिखाऊं

लोकसभा स्पीकर ने कहा, क्या अब सांसदों को बात करना भी सिखाऊं

लोकसभा में कुछ सदस्यों के व्यवहार और उनके द्वारा लगातार आपत्तिजनक टिप्पणियां किए जाने पर स्पीकर सुमित्रा महाजन सोमवार को बेहद आहत दिखीं। नाराज स्पीकर ने कहा कि अब सदस्यों को बोलना सिखाने के लिए क्या उनकी क्लास लूं?
ई लेनदेन: धोखाधड़ी पर अंकुश की कवायद में जुटा रिजर्व बैंक

ई लेनदेन: धोखाधड़ी पर अंकुश की कवायद में जुटा रिजर्व बैंक

इलेक्ट्रॉनिक लेनदेन (ई लेनदेन) में होने वाली धोखाधड़ी से पैदा होने वाली समस्याओं और ग्राहकों की शिकायतों को दूर करने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक एक नियामक ढांचा तैयार करने की दिशा में काम कर रहा है।
मोहाली के पूरे दो सेक्टरों की मालिक है यह आरोपी कंपनी

मोहाली के पूरे दो सेक्टरों की मालिक है यह आरोपी कंपनी

सीबीआई जांच का सामना कर रहे पर्ल समूह के पास मोहाली में दो पूर्ण सेक्टरों 100 और 104 का स्वामित्व है। इसके अलावा समूह के पास सेक्टर 96 और सेक्टर 99 में भी आधा हिस्सा है। सीबीआई द्वारा समूह की परिसंपत्तियों के विश्लेषण से यह तथ्य सामने आया है। समूह पर करीब पांच करोड़ निवेशकों को 51,000 करोड़ रुपये का चूना लगाने का आरोप है।
चर्चाः पत्थर का सिंहासन, न्याय के आंसू | आलोक मेहता

चर्चाः पत्थर का सिंहासन, न्याय के आंसू | आलोक मेहता

देश-दुनिया को न्याय दिलाने वाले भारतीय न्यायाधीशों की कोई यूनियन नहीं होती। वे नारे नहीं लगा सकते। विरोध में प्रदर्शन नहीं कर सकते। स्वयं बनाई आचार संहिता के तहत अधिकांश न्यायाधीश भव्य पार्टियों से भी बचते रहते हैं। निजी समारोह में भी कोई सार्वजनिक टिप्पणी नहीं करते। विधि संस्‍थानों अथवा प्रतिष्ठित संस्‍थानों को छोड़कर सभाओं को संबोधित करने नहीं जाते। केवल सत्य निष्‍ठा और निष्पक्ष न्याय उनका मूल मंत्र और लक्ष्य होता है। कानूनी ग्रंथों के अलावा अदालत में प्रस्तुत प्रकरणों की मोटी फाइलें दिन-रात पढ़ते और फैसले लिखते हैं।
Advertisement
Advertisement
Advertisement