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Search Result : "कुत्‍तों का खाना"

जब बनाना हो बच्चों के लिए पौष्टिक खाना

जब बनाना हो बच्चों के लिए पौष्टिक खाना

खाना पकाना अच्छा लग सकता है। लेकिन जब बच्चों के लिए पकाना पड़े तो सरदर्दी हो जाती है। बच्चे किस पकवान पर नाक-भौं सिकोड़ देंगे कहा नहीं जा सकता। यदि कोई किताब मिल जाए जिसमें बच्चों की मनपसंद खाने की विधियां भी हों और यह पौष्टिक भी हो तो कैसा रहे।
क्‍या गोमाता भी हमें गोभक्‍तों से बचा पाएंगी | नीलाभ मिश्र

क्‍या गोमाता भी हमें गोभक्‍तों से बचा पाएंगी | नीलाभ मिश्र

धर्म या संप्रदाय की स्वनिर्मित अवधारणाओं के आधार पर अस्मिता या राष्ट्रीयता को परिभाषित करने वाली विचारधारात्मक सनक के हाथों भिन्न विचारों और आस्था वाले लोगों के साथ हिंसा और प्रताड़ना के आजादी के बाद से चले आ रहे सिलसिले को देखता हूं तो सोचता हूं, इस देश में कौन सुरक्षित है?
‘जिन्हें प्याज खाना है वे पाकिस्तान चले जाएं’

‘जिन्हें प्याज खाना है वे पाकिस्तान चले जाएं’

प्याज रुला ही रहा था कि सोमवार को रही कसर धड़ाम से गिरे सेंसेक्स ने पूरी कर दी। खुलते ही बाजार औंधे मुंह गिरा। तेज गिरावट के साथ खुले घरेलू शेयर बाजार भारी गिरावट साथ बंद हुए। सेंसेक्स इतिहास में तीसरी सबसे बड़ी गिरावट। सोमवार को दोनों मुद्दे सोशल मीडिया पर छाए रहे। पेश हैं उनमें से कुछ कमेंट्स और कार्टून-
क्या मध्यवर्ग को गैस सब्सिडी और सांसदों को सस्ता खाना मिलना चाहिए ?

क्या मध्यवर्ग को गैस सब्सिडी और सांसदों को सस्ता खाना मिलना चाहिए ?

पिछले साल भर में दस लाख से ज्यादा भारतवासियों ने स्वेच्छा से अपनी रसोई गैस सब्सिडी छोड़ी। एक विकासशील देश में मोदी सरकार ने इन लोगों को इसके लिए प्रेरित करने का अभियान यह कहते हुए छेड़ा कि पैसा ज्यादा जरूरतमंद लोगों तक पहुंचना चाहिए। सरकारी अनुदानों के बारे में आख्यान बदलने का यह प्रयास नई राह बनाता है। ज्यादातर सब्सिडी कम जरूरतमंद लोग चट कर गए हैं, इसके बारे में बहुत सार्वजनिक विमर्श हुआ है।
आंगनवाडी में जहरीले भोजन से मौत

आंगनवाडी में जहरीले भोजन से मौत

आंध्र प्रदेश के दोंतामुर गांव के एक आंगनवाड़ी केंद्र में विषाक्त भोजन खाने से दो वर्षीय लड़के की मौत हो गई और एक की हालत गंभीर बनी हुई है। यह घटना रंगमपेटा मंडल के जी दोंतामुर गांव में हुई।
बराबर का बेहतरीन अचार

बराबर का बेहतरीन अचार

खाना कोई भी हो उसके साथ अचार हो तो खाने का स्वाद बेहद बढ़ जाता है। फिर चाहे वह अचार आम का हो, मिर्च का, नींबू का या लहसन का।
थाली हुई दादी-नानी की कहानी

थाली हुई दादी-नानी की कहानी

बाजार अब रेडी-टू-ईट यानि फटाफट खाद्य पदार्थों से भरा पड़ा है। मुंबई का बड़ा-पाव से लेकर कुछ भी घर लाओ, गरम करो और खाओ। फ्रोजन मार्केट यानि बर्फ में जमाई खाद्य सामग्री का बाजार तेजी से बढ़ रहा है।
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