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सबरीमाला केस में बेंच की इकलौती महिला जज इंदु बहुमत से असहमत, जानिए, उन्होंने क्या कहा

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केरल के सबरीमाला मंदिर में 10 साल से 50 साल की उम्र की महिलाओं के प्रवेश पर रोक के मामले पर सुप्रीम कोर्ट...
अयोध्या विवाद: 29 अक्टूबर से सुप्रीम कोर्ट करेगा सुनवाई, बड़ी बेंच नहीं जाएगा नमाज का मसला

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मस्जिद में नमाज पढ़ना इस्लाम धर्म का अभिन्न अंग है या नहीं, इस मसले पर गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट ने...
CJI के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव से जुड़ी याचिका पर सुप्रीम कोर्ट के 5 जजों की संवैधानिक बेंच कल करेगी सुनवाई

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राज्यसभा के सभापति एम वेंकैया नायडू द्वारा चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के खिलाफ महाभियोग नोटिस खारिज किए...
ट्रांसजेंडर कभी भीख मांगने को थी मजबूर, बनी जज

ट्रांसजेंडर कभी भीख मांगने को थी मजबूर, बनी जज

यह उनके समुदाय के लिए ऐतिहासिक क्षण था। कभी गुजर बसर के लिए भीख मांगने के लिए मजबूर जोइता मंडल अब लोक अदालत में जज बन गई हैं। जोइता के लिए यह मुकाम इसलिए भी खास है क्योंकि वह ट्रांसजेंडर हैं। लेकिन उनके लिए यह सफर इतना आसान नहीं था।
आयोग का चुनाव-चिह्न प्रदर्शन संबंधी आदेश सही-हाईकोर्ट

आयोग का चुनाव-चिह्न प्रदर्शन संबंधी आदेश सही-हाईकोर्ट

टेलीविज़न पर चलने वाले विभिन्न प्रोग्राम के तहत तमाम राजनैतिक लोगों द्वारा अपने साथ अपनी पार्टी का चुनाव चिह्न भी प्रदर्शित किए जाने के खिलाफ दायर याचिका इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच द्वारा ख़ारिज कर दी गयी। कहा कि इस बारे में चुनाव आयोग का आदेश विधि सम्मत है।
सिंगूर पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले की मुख्य बातें

सिंगूर पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले की मुख्य बातें

दीर्घ 10 साल लग गए सिंगूर पर अदालत का अंतिम फैसला आने में। सुप्रीम कोर्ट के फैसले को ममता बनर्जी ने ऐतिहासिक बताया है। जस्टिस गोपाल गौड़ा और जस्टिस अरुण मिश्र की डिवीजन बेंच ने अपने फैसले में निर्देश दिया कि वहां के किसानों को 12 सप्ताह के भीतर जमीन लौटाई जाए। 10 सप्ताह के भीतर वहां की स्थिति की समीक्षा कर राज्य सरकार अदालत में रिपोर्ट दाखिल करे। वहां के जिन किसानों ने मुआवजा ले लिया था, उनसे मुआवजे की रकम वापस नहीं ली जा सकेगी। जिन किसानों ने मुआवजा नहीं लिया था, उन्हें जमीन लौटाने के साथ ही आज के बाजार दर पर मुआवजा भी दिया जाएगा। क्योंकि, 10 साल तक वे जमीन का इस्तेमाल नहीं कर सके। साथ ही वे मालिकाना से भी वंचित रहे।
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