ब्रिटेन के मतदाताओं के यूरोपीय संघ से बाहर निकलने के निर्णय के बाद पैदा हुई आर्थिक और राजनीतिक अनिश्चितता के बीच पाउंड सोमवार को डॉलर के मुकाबले लगभग 31 साल के निचले स्तर पर आ गया।
आरएसएस से जुड़े श्रमिक संगठन भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) ने केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ प्रस्ताव पारित किया है। गुरुवार और शुक्रवार को नागपुर में भारतीय मजदूर संघ के केंद्रीय पदाधिकारियों की बैठक में केंद्र सरकार की मजदूर विरोधी नीतियों पर गहरा असंतोष व्यक्त किया गया।
राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ अगले महीने विदेश की शाखा हिंदू स्वयंसेवक संघ की पचासवीं वर्षगांठ लंदन में मनाएगा। इस मौके पर संघ प्रमुख मोहन भागवत लंदन जाएंगे। उनके साथ जनरल सेक्रेटरी दत्तात्रय होसबोले भी होंगे।
ब्रिटेन के यूरोपीय संघ से बाहर निकलने से देश के 108 अरब डालर के सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) उद्योग को कुछ समय के लिए अनिश्चितता की स्थिति से जूझना पड़ सकता है।
ब्रिटेन में यूरोपीय संघ :ईयू: को लेकर हुये एेेतिहासिक जनमत संग्रह में हार के बाद प्रधानमंत्री डेविड कैमरन ने शुक्रवार को अपने इस्तीफे की घोषणा कर दी। ब्रिटेन ने 28 देशों के संगठन यूरोपीय संघ :ईयू: से बाहर निकलने :ब्रेक्जिट: के पक्ष में मतदान किया है। कैमरन ब्रिटेन के ईयू में बने रहने के पक्ष में थे। इस फैसले से जहां एक तरफ वैश्विक बाजारों में उठापटक की स्थिति रही वहीं ईयू से अलग होने के बाद ब्रिटेन में आव्रजन और अन्य मुद्दों पर भी सवाल उठने लगे हैं।
रिजर्व बैंक गवर्नर रघुराम राजन ने शुक्रवार को ब्रिटेन के यूरोपीय संघ से बाहर निकलने के मद्देनजर नकदी मुहैया कराने और अस्त-व्यस्त बाजार व्यवहार को ठीक करने का वादा किया और कहा कि ब्रेक्जिट पर शुरुआती चिंता के बाद विदेशी कोष भारत लौटेंगे।
अफगानिस्तान ने सीधा हमला करते हुए पाकिस्तान के सरकारी ढांचे के अंदर मौजूद तत्वों पर क्षेत्र में सक्रिय ज्यादातर आतंकी समूहों को सहयोग देने का आरोप लगाया और कहा कि पाकिस्तान को आतंकवादियों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए परमाणु सौदों की या एफ 16 लड़ाकू विमानों की नहीं बल्कि राजनीतिक इच्छा शक्ति की जरूरत है।
तालिबान के आतंकवादियों ने अफगानिस्तान के दक्षिणी हेलमंद प्रांत में बसों तथा कारों के काफिले पर सिलसिलेवार हमला कर करीब 60 लोगों का अपहरण कर लिया। एक अफगान अधिकारी ने इस जानकारी की पुष्टि की है।
सरकार से अनुदान के तौर पर एक करोड़ रुपये से ज्यादा रकम और विदेशों से 10 लाख रुपये से अधिक दान प्राप्त करने वाले गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) अब लोकपाल के दायरे में आएंगे। नए नियमों के तहत, इस तरह के एनजीओ के पदाधिकारियों को लोक सेवक माना जाएगा और अनियमितताओं के मामले में भ्रष्टाचार-रोधी कानून के तहत इन पर मामला चलाया जाएगा।