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विनोद खन्‍ना को अमिताभ ने कुछ यूं याद किया, 'किसी की चाल में नहीं है वो बात'

विनोद खन्‍ना को अमिताभ ने कुछ यूं याद किया, 'किसी की चाल में नहीं है वो बात'

सिने अभिनेता अमिताभ बच्चन ने दिवंगत विनोद खन्नां को याद करते हुए कुछ यादें अपने ब्लाग में पाठकों के साथ साझा की हैं।
नायक और खलनायक का फर्क मिटाने वाले विनोद खन्ना नही रहे

नायक और खलनायक का फर्क मिटाने वाले विनोद खन्ना नही रहे

बॉलीवुड के मशहूर अभिनेता और राजनेता विनोद खन्ना ने गुरुवार को सर एचएन रिलायंस फाउंडेशन हॉस्पिटल में निधन हो गया। वे 70 वर्ष के थे। उन्होंने बॉलीवुड की करीब 140 फिल्मों में काम किया। गुरदासपुर से 4 बार भाजपा के सांसद रहे। उनके परिवार ने बताया कि शरीर में पानी की कमी होने के कारण विनोद खन्ना पिछले काफी समय से अस्वस्थ चल रहे थे, जिसके कारण उन्हें हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया था। जहां कई डॉक्टरों की देखरेख में उनका इलाज चल रहा था। वे कैंसर से भी पीड़ित थे।
अलविदा विनोद, रुक जाना नहीं तू कहीं हार के....

अलविदा विनोद, रुक जाना नहीं तू कहीं हार के....

खलनायकी से अपना फिल्मी सफर शुरू करने वाले विनोद खन्‍ना अपनी चिर परिचित मुस्‍कान और रोबीले चेहरे की वजह से नायक की भूमिका में सिने प्रेमियों को ज्‍यादा अच्‍छे लगे। उनका जादू कुर्बानी से लेकर अमर अकबर एंथोनी तक खूब चला।
अभिनय से ज्यादा ओशो का साथ पसंद आया था विनोद खन्ना को

अभिनय से ज्यादा ओशो का साथ पसंद आया था विनोद खन्ना को

उनकी अदा में दम था, अदाकारी में दम था फिर ऐसा क्या कम था कि विनोद खन्ना सुपर सितारा का दर्जा हासिल नहीं कर पाए। एक अच्छा अभिनेता क्या इसलिए संन्यासी हो गया या फिर संन्यासी होना इसके स्वभाव में था जो सब त्याग कर अपने करिअर की ऊंचाईयों को छोड़ कर आश्रम चल दिया।
नहीं रहे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अखिलेश दास

नहीं रहे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अखिलेश दास

पूर्व केंद्रीय मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अखिलेश दास का हृदय घात होने से निधन हो गया। वह 56 वर्ष के थे, बुधवार सुबह लारी कार्डियोलॉजी में उन्होंने आखिरी सांसें ली। लम्बे समय से उन्हें शुगर की भी बीमारी थी। अखिलेश दास के निधन से उनके परिवार में शोक की लहर दौड़ गई है। उनके समर्थकों का घर के बाहर हुजूम लगा हुआ है।
मजबूत अनारकली

मजबूत अनारकली

फैजाबाद की गायिका और नर्तकी ताराबानो फैजाबादी की कहानी से प्रेरित अनारकली ऑफ आरा ने एक बार फिर साबित किया है कि महिला यदि मन से मजबूत हो तो उसका कोई कुछ नहीं बिगाड़ सकता। स्वरा भास्कर ने इस फिल्म से अपने अभिनय के झंडे बुलंद किए हैं।
‘सीबीएफसी की नियम पुस्तिका पर पुनर्विचार करने की जरूरत है’

‘सीबीएफसी की नियम पुस्तिका पर पुनर्विचार करने की जरूरत है’

हिन्दी फिल्मों के एक प्रसिद्ध अभिनेता अनुपम खेर ने सेंसर बोर्ड को अपनी नियम पुस्तिका पर पुनर्विचार करने की बात कही। उन्होंने कहा, सेंसर बोर्ड के दिशा-निर्देशों को लिखे हुए छह दशक से अधिक समय बीत गया है इसलिए इस पर एक बार पुनर्विचार करना चाहिए।
भारतीय बाजार फेडरल रिजर्व की बढ़ी ब्याज दरों के लिए तैयार है: शक्तिकांत दास

भारतीय बाजार फेडरल रिजर्व की बढ़ी ब्याज दरों के लिए तैयार है: शक्तिकांत दास

वित्त मंत्रालय ने आज कहा कि पिछली रात अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा नीतिगत ब्याज दरों में की गई 0.25 प्रतिशत की वृद्धि के लिए भारतीय बाजार पहले से ही तैयार हैं।
चम्मच, प्लेट, कलम, किताब से भी महिलाएं कर सकती हैं आत्मरक्षा

चम्मच, प्लेट, कलम, किताब से भी महिलाएं कर सकती हैं आत्मरक्षा

कलम, किताब, चम्मच, प्लेट महिलाओं के लिए हथियार साबित हो सकते हैं। इसके अलावा वे अपनी उंगलियों, मुक्कों और अपने पावों से भी बुरी नजर डालने वाले मजनुओं को ढेर कर सकती हैं।
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