पेट्रोलियम मंत्रालय के एक अधिकारी का कहना है कि कंपनी पर कुल जुर्माना, जो कि अप्रैल 2010 से छह वर्ष में इस परियोजना में प्रोडक्शन टारगेट से पीछे रहने के कारण, 3.02 अरब डॉलर का लगाया जा चुका है।
वैज्ञानिकों ने पहली बार ऐसा तरीका इजाद किया है जिसमें मेडिकल अल्ट्रासाउंड जैसी एक तकनीक का इस्तेमाल कर कंपायमान विशालकाय तारों के भीतर चुंबकीय क्षेत्र की मौजूदगी का पता लगाया जा सकता है।