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ईपीएफ पर मिलेगा 8.65 प्रतिशत की दर से ब्याज, वित्त मंत्रालय ने दी मंजूरी

ईपीएफ पर मिलेगा 8.65 प्रतिशत की दर से ब्याज, वित्त मंत्रालय ने दी मंजूरी

साल 2016-17 के लिए ईपीएफ की 8.65 फीसद की दर को मंजूरी मिल गई है। इससे करीब चार करोड़ सब्सक्राइबर्स सीधे तौर पर लाभान्वित होंगे।
जीएसटी पर चिंता जताने वाले हकीकत में कर से बचने वाले : आदि गोदरेज

जीएसटी पर चिंता जताने वाले हकीकत में कर से बचने वाले : आदि गोदरेज

गोदरेज समूह के चेयरमैन आदि बी. गोदरेज ने कहा कि जो लोग वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) पर चिंता जता रहे हैं और इसको थोड़ा टालने की बात कर रहे हैं, वे ऐसे लोग हैं जो कर से बचना चाहते हैं।
श्रीनगर उपचुनाव: भारी हिंसा में 8 की मौत, मतदान सिर्फ 7.14 फीसदी

श्रीनगर उपचुनाव: भारी हिंसा में 8 की मौत, मतदान सिर्फ 7.14 फीसदी

लंबे समय से सुलग रही कश्मीर घाटी में आज एक ऐसा चुनाव हुआ, जिसमें हिंसा की सैकड़ों घटनाओं के बीच कम से कम 8 लोगों की मौत हो गई जबकि मतदान सिर्फ 7.14 फीसदी हुआ।
रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं, रिवर्स रेपो रेट में हुई बढ़ोतरी

रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं, रिवर्स रेपो रेट में हुई बढ़ोतरी

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने एक ओर जहां रेपो रेट में कोई बदलाव न करके 6.25 फीसदी पर बरकरार रखा है, वहीं रिवर्स रेपो रेट को 5.75 फीसदी से बढ़ाकर 6 फीसदी कर दिया है। आरबीआई ने सीआरआर में भी कोई बदलाव न करके 4 फीसदी पर ही स्थिर रखा है।
राज्यसभा में जीएसटी से जुड़े 4 बिल पास, मनमोहन ने कांग्रेस से की अपील

राज्यसभा में जीएसटी से जुड़े 4 बिल पास, मनमोहन ने कांग्रेस से की अपील

राज्यसभा में गरुवार को जीएसटी से जुड़े चार बिलों को बिना किसी संशोधन के पास कर दिया गया है। इन चार बिलों में सी-जीएसटी, आईजीएसटी, यूटीजीएसटी और जीएसटी मुआवजा बिल शामिल है। पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कांग्रेस से अपील की थी कि वो राज्यसभा में जीएसटी पर आम सहमति बनाने में मदद करे। इससे पहले लोकसभा में भी इन चारों बिलों को मंजूरी दे दी गई थी।
जीएसटी नेटवर्क की दक्षता पर निर्भर करेगी सफलता: उद्योग

जीएसटी नेटवर्क की दक्षता पर निर्भर करेगी सफलता: उद्योग

देश में वस्तु एवं सेवाकर :जीएसटी: को अमल में लाने को लेकर उद्योग जगत के मन में अब भी कई तरह के सवाल हैं और उसका मानना है कि इस देशव्यापी नयी अप्रत्यक्ष कर प्रणाली जीएसटी की सफलता इस बात पर निर्भर करेगी कि जीएसटी नेटवर्क कितना दक्ष और मजबूत है।
जानिए, जीएसटी के बाद होंगे ये दस बड़े बदलाव

जानिए, जीएसटी के बाद होंगे ये दस बड़े बदलाव

लोकसभा में बुधवार को लंबी बहस के बाद आजादी के बाद का सबसे बड़ा आर्थिक सुधार कहा जाने वाला जीएसटी बिल पास हो गया। जीएसटी से जुड़े 4 बिलों सैंट्रल जी.एस.टी., इंटीग्रेटेड जी.एस.टी., यूनियन टैरिटरी जी.एस.टी. और कम्पन्सेशन जी.एस.टी. बिलों को लोकसभा ने सर्वसम्मति से पास कर दिया। 1 अप्रैल की अंतिम समय सीमा करने के बाद 1 जुलाई से देशभर में समान टैक्स प्रणाली लागू होगी। जी.एस.टी. का उद्देश्य पूरे देश में वस्तुओं और सेवाओं की दर को एक समान रखना है।
‘जीएसटी परिषद केंद्र और राज्यों का संतुलित मेलजोल ’

‘जीएसटी परिषद केंद्र और राज्यों का संतुलित मेलजोल ’

केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली ने आज लोकसभा में वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) से संबंधित चार विधेयक पेश किया। उन्होंने कहा, इन चारों विधेयकों को एक साथ इसलिए पेश किया जा रहा है, क्योंकि विधेयकों की विषय-वस्तु एक जैसी ही है।
जीएसटी से उपभोक्ताओं पर अतिरिक्त कर का भार नहीं पड़ेगा : अरूण जेटली

जीएसटी से उपभोक्ताओं पर अतिरिक्त कर का भार नहीं पड़ेगा : अरूण जेटली

वस्तु एवं सेवा कर को संवैधानिक मंजूरी प्राप्त पहला संघीय अनुबंध करार देते हुए वित्त मंत्री अरूण जेटली ने आज कहा कि उपभोक्ताओं पर अतिरिक्त कर का भार नहीं डालते हुए जीएसटी के माध्यम से देश में एक राष्ट्र, एक कर की प्रणाली लागू करने का मार्ग प्रशस्त होगा।
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