उत्तर प्रदेश के बागपत में गुरुवार को यमुना नदी में एक बड़ा हादसा हुआ। नदी में किसानों और मजदूरों से भरी नाव डूबने से मरने वालों की संख्या बढ़कर 19 हो गई है। इस दौरान नाव में करीब 60 यात्री सवार थे।
कुख्यात बदमाश आनंदपाल के एनकाउंटर की सीबीआई जांच की मांग कर रहे उसके समर्थकों ने कल नागौर में पुलिस पर जमकर पथराव किया। गुस्साई भीड़ पर काबू पाने के लिए पुलिस को फायरिंग करनी पड़ी। बवाल के दौरान एक व्यक्ति के मारे जाने की खबर है।
अनाज, सब्जी और दूध के वाजिब दाम नहीं मिलने से नाराज किसान देश के कई हिस्सों में प्रदर्शन कर रहे हैं। इस दौरान मध्यप्रदेश के सीहोर में पथराव और तोड़फोड़ की घटना भी सामने आई है।
महाराणा प्रताप जयंती के मौके पर आज सहारनपुर में निकाली गई शोभा यात्रा को लेकर दो पक्षों में टकराव हो गया। जुलूस को लेकर शुरु हुए बवाल में एक युवक की मौत हो गई।
सुरक्षा बलों ने दक्षिण कश्मीर के शोपियां जिले के कई इलाकों में आतंकवादियों के खिलाफ आज एक बड़ा अभियान शुरू कर दिया है। करीब 20 गांवों की घेरेबंदी की गई है और कई लोगों को हिरासत में लिया गया है। लेकिन पथराव करने वाली भीड़ उनके प्रयासों में बाधा डाल रही है।
मीडिया में मथुरा हादसे के पीछे पुलिस की लापरवाही को जिम्मेदार माना जा रहा है। खबरों के अनुसार पुलिस बिना पूर्व तैयारी के अतिक्रमण हटाओ अभियान को अंजाम देने पहुंच गई थी और वह भी बिना हेलमेट और बुलेट प्रूफ जैकेट के साथ। पुलिस ने अगर यह लापरवाही की है तो उसे यह दोष दिया जा सकता है। लेकिन बेतुकी मांगों के साथ धरने की आड़ में 250 एकड़ की जमीन पर कब्जा करने वाले उन अतिक्रमणकारियों के साथ क्या सलूक होना चाहिए, जो कोर्ट के आदेश के बाद भी वहां से हटने का नाम नहीं ले रहे थे।
उत्तर प्रदेश के मथुरा में अतिक्रमणरोधी एक अभियान के दौरान हुई हिंसा में शहर पुलिस अधीक्षक तथा एक थाना प्रभारी सहित 21 लोगों की मौत हो गई। हिंसा और गोलीबारी में 40 से अधिक लोग घायल हो गए। हमले में 19 अतिक्रमणकारियों की भी मौत हुई है।
हरियाणा के एक गांव में ऊंची जाति के कुछ लोगों द्वारा एक दलित दूल्हे को उसकी बारात में घोड़ा बग्गी पर चढने से रोकने और बाराती समेत पुलिस दल पर पथराव करने का मामला सामने आया है। घटना के बाद से इलाके में तनाव की स्थिति है।