राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने आज कहा कि नोटबंदी के बाद आर्थिक मंदी के कारण गरीबों को होने वाली अपरिहार्य परेशानियों को दूर करने के लिए अतिरिक्त ध्यान दिया जाना चाहिए। मुखर्जी ने राष्ट्रपति भवन से वीडियो-कांफ्रेंसिंग के माध्यम से राज्यपालों और उपराज्यपालों से कहा कि कालेधन को समाप्त करने और भ्रष्टाचार से लड़ने के लिए लागू नोटबंदी से अर्थव्यवस्था में अस्थायी मंदी आ सकती है।
नोटबंदी के एक महीने बीतने के बाद भी कोलकाता के प्रकाशन उद्योग केन्द्र कॉलेज स्ट्रीट के प्रकाशकों का कहना है कि हाल के वर्षों में इस अवधि में होने वाली किताबों की बिक्री इस साल घटकर उसके दसवें हिस्से पर पहुंच गई है।
नोटबंदी को लेकर देश भर में जारी हलचल के बीच उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने आज एक विवादास्पद बयान दे दिया। अखिलेश ने दावा किया कि अर्थशास्त्रियों का मत है कि वैश्विक मंदी के दौर में काले धन ने भारतीय अर्थव्ययस्था को सहारा दिया था।
वैश्विक आर्थिक मंदी है। यूरोप की हालत बदतर हो गई है। अमेरिका और चीन जैसे देश भी परेशान हैं। नए बाजार और सस्ता कच्चा माल की तलाश में ये देश परेशान हैं। इस लिहाज से दक्षिण पूर्व एशिया में इन देशों को रास्ता नजर आ रहा है।