आरबीआई ने चलन से बाहर किए गए उच्च मूल्य के पुराने नोट बदलने के वास्ते प्रवासी भारतीयों सहित उन लोगों के लिए कुछ अन्य शर्तें जारी की जो 30 दिसंबर तक ऐसा करने में असफल रहे थे।
आयकर कानून को सरल बनाने के लिए बनी उच्चस्तरीय समिति की अगुवाई करने वाले न्यायमूर्ति आरवी ईश्वर ने वित्तमंत्री अरुण जेटली को अपनी दूसरी रिपोर्ट सौंप दी। आयकर कानून 1961 के विभिन्न प्रावधानों के सरलीकरण के बारे में सुझाव देने के लिये 27 अक्टूबर 2015 को न्यायमूर्ति ईश्वर की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया गया था। समिति ने शुक्रवार को अपनी रिपोर्ट सौंप दी।
चलन से बाहर किये गये 500-1000 रुपये के पुराने नोट रखने वालों पर अब जुर्माना लगेगा। उन्हें जेल की सजा भी हो सकती है। केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को इस तरह के प्रावधान वाले अध्यादेश को मंजूरी दी है।
शिवसेना ने बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा है कि मध्यम वर्ग को परेशान कर देने वाले नोटबंदी के कदम की तरह कहीं बेनामी संपत्तियों का कानून आम आदमी को चोट न पहुंचा दे।
पुराने नोट जमा कराने पर पूछताछ को लेकर चौतरफा घिरे भारतीय रिजर्व बैंक ने आज इस मामले में यू-टर्न लिया। आरबीआई ने कहा कि अपने ग्राहक को जानो (केवाईसी) अनुपालन वाले खाताधारक 30 दिसंबर तक 5,000 रुपये से अधिक के पुराने नोट एक बार में या कई बार में जमा करा सकेंगे, उनसे कोई सवाल नहीं पूछा जाएगा।
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने बैंकों में पुराने नोट जमा करने के बाबत नियमों में बार-बार किए जा रहे बदलाव पर निशाना साधते हुए बुधवार को कहा कि मोदी सरकार ऐसे कनफ्यूज्ड ट्रैफिक सिग्नल की तरह बर्ताव कर रही है, जिसमें एक ही समय में अलग-अलग रंगों की बत्तियां जलती हैं।
अमान्य घोषित किये जा चुके 500 और 1000 रूपये के नोटों को बैंकों में जमा करने संबंधी रिजर्व बैंक आॅफ इंडिया के नये प्रतिबंधों को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर नये सिरे से हमला बोलते हुए राहुल गांधी ने मंगलवार को कहा कि देश का केंद्रीय बैंक उसी तरह नियम बदल रहा है, जिस प्रकार प्रधानमंत्री अपने कपड़े बदलते हैं।
नोट बंदी लागू होने के बाद विभिन्न हिस्सों में काले धन को सफेद करने में बैंकों व बैंककर्मियों की भूमिका संदिग्ध है। यूं कहा जाए कि पीएम नरेंद्र मोदी के इस कदम के बाद देश के बैंकिंग ढांचे की कलई खुल गई है। तीन वर्ष पहले एक वेबसाइट की तरफ से निजी व सरकारी बैंकों में काले धन को सफेद करने के गोरखधंधे का जो खुलासा हुआ था वह बदस्तूर जारी है। इस बीच आरबीआइ ने नियमों में कड़ाई बरती है। बैंकों पर जुर्माना लगाया लेकिन इन्हें नजर अंदाज करने वालों पर कोई लगाम नहीं लग पाया है।
चुनावों में कालेधन के इस्तेमाल पर रोक लगाने के लिए चुनाव आयोग सक्रिय है। आयोग ने सरकार से अनुरोध किया है कि राजनीतिक दलों को 2000 रुपये और इससे ज्यादा के अज्ञात चंदे पर पाबंदी के लिए कानून में संशोधन किया जाए।
केंद्रीय जांच ब्यूरो ने अमान्य किए जा चुके 500 और 1000 रुपये के नोटों को अवैध तरीके से नए नोटों में बदलने के दो अलग-अलग मामलों में रिजर्व बैंक के एक अधिकारी और जद (सेकुलर) नेता और कैसिनो मालिक के सी वीरेंद्र को गिरफ्तार किया है।