आपके फेसबुक, वाट्स एप और जीमेल पर सरकारी शिकंजे का खतरा फिलहाल टल गया है। केंद्र सरकार ने नेशनल इन्क्रिप्शन पॉलिसी का विवादित मसौदा वापस ले लिया है। मसौदा के अनुसार वाट्स एप, फेसबुक जैसे मैसेज 90 दिनों से पहले डिलीट करना गैर-कानूनी करार दिया जा सकता था। हालांकि, मामले के तूल पकड़ने के बाद सरकार को सफाई देनी पड़ी है कि वाट्स एप, फेसबुक जैसे सोशल मीडिया, ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म और ऑनलाइन पेमेंट गेटवे को इस नीति से छूट दी जाएगी। इस पर भी विवाद शांत नहीं हुआ तो सरकार को विवादित ड्राफ्ट वापस लेना पड़ा।
केंद्र सरकार साइबर अपराध से निपटने के लिए एक अत्याधुनिक केंद्र की स्थापना करेगी। चाइल्ड पाॅर्नोग्राफी और आॅनलाइन उत्पीड़न से निपटना इस केंद्र की शीर्ष प्राथमिकता होगी।
वाणिज्य एवं उद्योग संगठन एसोचैम के एक अध्ययन में दावा किया है कि आॅनलाइन शापिंग के प्रति बढ़ते आकर्षण की वजह से शापिंग माॅल में 20 से 25 प्रतिशत स्थान खाली पड़ा है और उनका किराया भी 30 प्रतिशत तक घट गया है।
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा है कि रणवीर सेना के बारे में कोबरा पोस्ट के स्टिंग से हुए खुलासे की जांच के लिए वह राज्य के डीजीपी को लिखेंगे। डीजीपी स्टिंग के टेपों को देखकर कानून के अनुरूप कदम उठाएंगे। समाचार चैनल एबीपी न्यूज के कार्यक्रम प्रेस कॉन्फ्रेंस में देश के कुछ चुनिंदा संपादकों और वरिष्ठ पत्रकारों से बातचीत में नीतीश ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बिहार पैकेज से लेकर भूमि सुधारों, लालू से गठबंधन, भाजपा नेताओं को भोज पर निमंत्रण के लिए बुलाकर अंतिम क्षण में भोज स्थगित करने जैसे मुद्दों पर खुलकर जवाब दिया।
भारत में 857 पोर्न साइट के ब्लॉक किए जाने का मुद्दा तूल पकड़ता जा रहा है। हालांकि, अभी तक सरकार ने खुलकर स्वीकार नहीं किया कि ये पोर्न साइट किसके आदेश पर और क्यों ब्लॉक कराई गई हैं। लेकिन व्यक्तिगत आजादी पर हमला बताते हुए इस कदम की काफी आलोचना हो रही है। कुछ लोग इसे सरकार के 'स्वच्छ इंटरनेट अभियान' का नाम दे रहे हैं। गौरतलब है कि पिछले महीने सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि वयस्कों को उनके कमरों में पोर्न देखने से नहीं रोका जा सकता।
इंटरनेट जगत की दिग्गज कंपनी गूगल अपने सोशल नेटवर्क गूगल प्लस को अलविदा कहने की तैयारी कर रही है। चार साल पहले फेसबुक को टक्कर देने के लिए यह सोशल नेटवर्किंग सेवा शुरू की गई थी। लेकिन पिछले कई महीनों से कंपनी ने गूगल प्लस की उपयोगी फीचर को अलग सेवा के तौर पर डेवलप करना शुरू कर दिया है। कंपनी गूगल प्लस को गूगल की सभी गतिविधियों को केंद्र नहीं बनाना चाहती है।
यकीन करना आसान नहीं हैं। ये तीसेक साल से कुछ ज्यादा के नौजवान हैं, जिन्होंने पढ़ाई पूरी करने के बाद अच्छी नौकरी हासिल भी की और फिर छोड़ भी दी। खुद का कारोबार शुरू किया और कामयाब भी हो गए। आज ये तेजी से बढ़ती ई-कॉमर्स कंपनी के मालिक हैं। मैंने पूछा मल्टीनेशनल कंपनी में नौकरी छोड़कर अपना काम शुरू करते हुए असफलता का डर नहीं लगा? आर्थिक दिक्कतें नहीं आईं? जवाब देखिए, ज्यादा से ज्यादा क्या होता वापस नौकरी करनी पड़ती। इतनी पढ़ाई और काम करने के बाद इतना भराेसा तो था कि भूखे मरने वाले नहीं हैं। इसलिए ज्यादा फ्रिक नहीं हुई।