समाजवादी पार्टी ने बागियों के खिलाफ कार्यवाही करते हुए अपने एक विधायक को सस्पेंड कर दिया है जबकि जिला पंचायत चुनाव में पार्टी सांसद धर्मेन्द्र की बहन को टिकट दिया गया है।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव पिछले 18 सालों से चले आ रहे सैफई महोत्सव के उद्घाटन समारोह में पहली बार नहीं पहुंचे। इतना ही नहीं महोत्सव के दूसरे दिन क्रिकेट मैच के उद्घाटन समारोह में भी नहीं पहुंचकर अखिलेश ने अपनी नाराजगी का इजहार कर दिया।
समाजवादी पार्टी के मुखिया मुलायम सिंह यादव के पैतृक गांव सैफई में सालाना होने वाले रंगारंग महोत्सव की कल धूमधाम से शुरूआत तो हो गई लेकिन मुख्यमंत्राी अखिलेश यादव की अनुपस्थिति चर्चा का विषय रही।
साहित्य अकादेमी के अध्यक्ष डॉ. विश्वनाथ प्रसाद तिवारी द्वारा 23 भारतीय भाषाओं के युवा रचनाकारों को साहित्य अकादेमी युवा पुरस्कार-2015 प्रदान किए गए। विश्वनाथ प्रसाद तिवारी ने कहा, कोई भी पुरस्कार या राशि तो वापस की जा सकती है किंतु प्राप्त सम्मान कभी वापस नहीं किया जा सकता। यह स्वयं द्वारा अर्जित होता है और समाज यानी ‘लोक’ की इसमें महत्त्वपूर्ण भूमिका होती है।
साहित्यिक पत्रिका समास के संपादक और साहित्यकार उदयन वाजपेयी अपनी कहानियों से ज्यादा उनके द्वारा लिए गए विभिन्न हस्तियों के साक्षात्कार के लिए पहचाने जाते हैं। कई साहित्यिक पत्रिकाओं के बीच समास का अलग तेवर है। स्थानीय पुट के साथ-साथ इसमें राष्ट्रीयता का दखल भी इसमें कम नहीं होता। साहित्यिक पत्रिकाओं की कमी और इस दुनिया के बदलते तेवर पर उन्होंने कई पहलुओं पर अपनी बात साझा की।
साहित्य अकादमी का पुरस्कार लौटाने का सिलसिला एक नई परिस्थिति का संकेत देता है और एक अभूतपूर्व माहौल की रचना भी करता है। परिस्थिति नई है, वरना अभी तक यह माना जाता रहा है कि कला और साहित्य में राज्य द्वारा सम्मानित किए जाने के लिए होड़ लगी रहती है। पुरस्कार लौटाने की व्यग्रता इस पैमाने पर पहले नहीं देखी गई।
चुनाव अपने यहां सचमुच उत्सव हैं। चुनाव लड़ने-लड़ाने वालों को छोड़कर सभी इसको इंज्वॉय करते हैं। और बिहार चुनाव तो उत्सवों के समय ही होते रहे हैं। बिहार का आदमी थोड़ा हटकर होता है। उसे अमेरिकी चुनाव की भी अंदरुनी जानकारी होती है तो यह कैसे कह सकते हैं कि बिहार में हो रहे चुनाव के अंदर की खबरें उसके पास नहीं होंगी।
जानेमाने गीतकार गुलजार ने बढ़ती धार्मिक असहिष्णुता के विरोध में लेखकों की ओर से साहित्य अकादमी पुरस्कार लौटाए जाने को सही बताते हुए कहा कि देश में ऐसे हालात पहले कभी नहीं देखे गए।