मुद्रास्फीति और वित्तीय घाटा नियंत्रण में रहने के मद्देनजर बैंकरों और उद्योगपतियों को उम्मीद है कि रिजर्व बैंक मंगलवार को होने वाली मौद्रिक नीति समीक्षा में आर्थिक गतिविधियों में तेजी लाने और निवेश बढ़ाने के लिए रेपो दर में कटौती कर सकता है।
घर व संस्थाओं में जमा सोने को देश के काम में लगाने के लिए लाई जा रही योजना के तहत सोने पर कमाई को करमुक्त किया जा सकता है। इस बारे में वित्त मंत्रालय ने 2 जून तक जनता की राय मांगी है।
कर विशेषज्ञों ने कहा है कि वित्त मंत्री अरूण जेटली की विदेशी कंपनियों की कुछ आय पर मैट में छूट की घोषणा से विदेशी कंपनियों को राहत जरूर मिली है लेकिन सरकार को पिछले बकाये के लिए कर संधि लाभों के बारे में स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए।
कैग ने अपनी रिपोर्ट में कहा, सीवीसी दिशानिर्देशों के उलट ठेकेदारों को ब्याज-मुक्त संग्रहण अग्रिम का भुगतान किए जाने से उन्हें अनुचित लाभ पहुंचाया गया और कंपनी को 156.02 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।
भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर रघुराम राजन ने मंगलवार को नीतिगत ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं किया। वह देखना चाहते हैं कि खाद्य मुद्रास्फीति पर हाल की बेमौसम बारिश का क्या असर रहता है। साथ ही वह यह भी चाहते हैं कि रेपो दर में पिछली कटौतियों का फायदा बैंक उपभोक्ताओं को दें।
पेट्रोल की कीमत में लगातार दो बार बढ़ोतरी के बाद अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल में नरमी के बीच बुधवार को इसमें 49 पैसे प्रति लीटर की कमी की गई और डीजल 1.21 रुपये प्रति लीटर सस्ता हो गया।
इस वर्ष केंद्रीय बजट में जब निर्धन वर्ग के कार्यक्रमों, ग्रामीण व सामाजिक क्षेत्रों में बड़ी कटौतियां की गई तो कहा गया था कि इसकी क्षतिपूर्ति राज्य सरकारों के बजट में हो जाएगी क्योंकि राज्य सरकारों को 14 वें वित्त आयोग की सिफारिशों के आधार पर करों का अधिक हिस्सा आबंटित हो रहा है। पर अधिकांश राज्य सरकारों के बजट में कटौतियों की पूर्ण व पर्याप्त भरपाई का कोई आसार नजर नहीं आ रहा है। उदाहरण के लिए राजस्थान सरकार के बजट में यह स्पष्ट नजर आता है कि इन उच्च प्राथमिकता क्षेत्रों में हुई कटौतियों की पर्याप्त क्षतिपूर्ति राज्य सरकार के बजट में नहीं हो सकी है।