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Search Result : "राष्‍ट्रीय किशोर"

पूर्व राष्‍ट्रपति एपीजे अब्‍दुल कलाम का निधन, शोक की लहर

पूर्व राष्‍ट्रपति एपीजे अब्‍दुल कलाम का निधन, शोक की लहर

देश को मिसाइल और अंतरिक्ष तकनीक के मामले में आत्मनिर्भर बनाने में प्रमुख भूमिका निभाने वाले प्रसिद्ध वैज्ञानिक और भारत के 11वें राष्ट्रपति डॉ. अबुल पाकिर जैनुलआबेदिन अब्दुल कलाम का 27 जुलाई को 84 वर्ष की उम्र में मेघालय की राजधानी शिलांग में निधन हो गया।
याकूब के लिए 40 हस्तियों का राष्‍ट्रपति को पत्र

याकूब के लिए 40 हस्तियों का राष्‍ट्रपति को पत्र

बंबई बम धमाकों के दोषी याकूब मेमन को फांसी से बचाने के लिए कई पार्टी के सांसदों, रिटायर्ड जजों, सामाजिक कार्यकर्ताओं और फिल्‍म जगत की मशहूर हस्तियों ने राष्‍ट्रपति प्रणब मुखर्जी को पत्र लिखा है।
बहुराष्‍ट्रीय कंपनियां ग्रीस से ज्‍यादा चीन से चिंतित

बहुराष्‍ट्रीय कंपनियां ग्रीस से ज्‍यादा चीन से चिंतित

भारत, अमेरिका और सिंगापुर सहित दुनियाभर की बहुराष्ट्रीय कंपनियां चीन की बुनियादी आर्थिक समस्याओं से ज्यादा चिंतित नजर आ रही हैं। एसोचैम के एक दस्तावेज के मुताबिक, इन कंपनियों को आशंका है कि ग्रीस संकट की तुलना में चीन की खराब अर्थव्यवस्‍था का ‌विश्व के वित्तीय और कमोडिटी बाजारों पर ज्यादा असर पड़ेगा।
प्राइवेट स्‍कूलों का राष्‍ट्रीयकरण क्‍यों जरूरी?

प्राइवेट स्‍कूलों का राष्‍ट्रीयकरण क्‍यों जरूरी?

भारत में निशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का कानून लागू है। सरकारी कार्यालयों में चाय पहुंचाते बच्चों को देख कर ये बखूबी जाना जा सकता है कि हमारे देश में ये कानून किस तरह लागू है। शिक्षा न तो निशुल्क है और न ही अनिवार्य। निजी विद्यालयों में मोटी फीस वसूलते हैं, सरकारी विद्यालय भी किसी न किसी बहाने कुछ पैसा वसूल ही लेते हैं।
कहानी: श्यामल सखी तेरी

कहानी: श्यामल सखी तेरी

किशोर चौधरी रेडियो में काम करते हैं और जिंदगी की कहानियां लिखते हैं। चौराहे पर सीढ़ियां बहुत ही चर्चित कथा संग्रह रहा है। उसके बाद धूप के आइऩे में और जादू भरी लड़की को बहुत प्रशंसा प्राप्त हुई। उनकी भाषा और कहानी को बुनने का तरीका उनकी कहानियों को खास बनाता है। उनके तीनों कहानी संग्रह हिंद युग्म से प्रकाशित हुए हैं।
योग दिवस: राजपथ बना योगपथ, दो नए रिकॉर्ड

योग दिवस: राजपथ बना योगपथ, दो नए रिकॉर्ड

रविवार को दुनिया भर में मनाए गए पहले अंतरराष्‍ट्रीय योग दिवस की कमान खुद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने संभाली। राजपथ पर करीब 36 हजार लोगों और 84 देशों के प्रतिनिधियों ने एक साथ योग अभ्‍यास किया, जिससे यह कार्यक्रम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्‍ड रिकॉर्डस में दर्ज हो गया है।
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