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Search Result : "हरिद्वार कुंभ मेला"

कांवड़ यात्रा से मुसीबत में हरिद्वार की सांसें

कांवड़ यात्रा से मुसीबत में हरिद्वार की सांसें

साल भर पहले डेरा सच्चा सौदा के करीब दस हजार लोगों ने हरिद्वार की यात्रा की थी। ये सभी अपने साथ झाडू़ और साफ-सफाई का सामान लेकर आए थे। इन श्रद्धालुओं ने दिन भर में पूरे हरिद्वार शहर को साफ कर दिया था और शहर से इतना कूड़ा एकत्र किया था कि उसे हटाने में नगर निगम को एक सप्ताह से ज्यादा लग गया था। क्या ऐसी ही उम्मीद कांवड़‍ियों से की जा सकती है?
पारंपरिक  शरबत मेले में स्वागत है

पारंपरिक शरबत मेले में स्वागत है

दिल्ली की बढ़ती गर्मी में राहत के लिए ठंडा-ठंडा कूल-कूल कुछ चाहिए तो दिल्ली के आइएनए में दिल्ली हाट में आइए। यहां ऐसे कई देशी शर्बत की वैरायटी मौजूद है जिन्हें आप लगभग भूल चुके होंगे।
अजमेर शरीफ दरगाह में प्रधानमंत्री की ओर से चादर चढ़ाई

अजमेर शरीफ दरगाह में प्रधानमंत्री की ओर से चादर चढ़ाई

सदियों से चली आ रही परंपरा का निर्वाह करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अजमेर स्थित मशहूर सूफी संत ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह पर चादर भेंट की।
कविता - सुशील उपाध्याय

कविता - सुशील उपाध्याय

उपाध्याय उत्तराखंड संस्कृत विश्वविद्याल में प्राध्यापक हैं। अध्यापन से पहले वह प्रखर पत्रकार रह चुके हैं। अमर उजाला और हिंदुस्तान अखबार में काम करते हुए उन्होंने रिपोर्टिंग के क्षेत्र में जो भी विविधताएं महसूस कीं उन्हें बाद में कविता में ढाला। उनकी खबरों की समझ और कविता की संवेदना मिल कर जो काव्य पैदा करती है, वह कविता को नई भाषा देती है।
मोदी : भूमि अधिग्रहण के लिए तर्कसंगत ढांचा बना रही है सरकार

मोदी : भूमि अधिग्रहण के लिए तर्कसंगत ढांचा बना रही है सरकार

भूमि अधिग्रहण अध्यादेश को लेकर विपक्ष की आलोचनाओं से घिरे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि उनकी सरकार भूमि अधिग्रहण का एक तर्कसंगत ढांचा बना रही है जिससे किसानों और भू मालिकों को कोई कष्ट नहीं होगा।
कुम्भ मेले में हुए घोटाले की जांच की सिफारिश

कुम्भ मेले में हुए घोटाले की जांच की सिफारिश

उत्तराखंड के सूचना आयुक्त ने 2010 में हरिद्वार में आयोजित कुम्भ मेले के दौरान कथित तौर पर 180 करोड़ रूपये की वित्तीय अनियमितता के आरोपों की सीबीआइ से जांच कराने की मंगवार को मुख्य सचिव से सिफारिश की। उस समय राज्य में भाजपा सरकार थी।
दिल्ली पुस्तक मेला: पाठक कम लेखक ज्यादा

दिल्ली पुस्तक मेला: पाठक कम लेखक ज्यादा

विश्व पुस्तक मेले में इस बार हिंदी लेखकों की आमद ने पाठकों को भी पछाड़ दिया है। देश के कोने-कोने से पधारे लेखकों को देख कर लगता है कि हिंदी साहित्य की परंपरा बहुत समृद्ध हो रही है। किताबों की संख्या बढ़ रही है क्योंकि एक-एक लेखक साल भर में कम से कम पांच किताबें लिखने का माद्दा रखता है।
विश्व पुस्तक मेले में रौनक

विश्व पुस्तक मेले में रौनक

किताब प्रेमी हर साल इन्तज़ार करते हैं कि कब किताबों का मौसम आएगा और वे न सिर्फ किताबों की दुनिया में खो जाएंगे बल्कि भागम भाग के इस दौर में कुछ पल किताबों की जिल्द की छांव में सुस्ता भी लेंगे। पुस्तक मेला नएपन के लिए जाना जाने लगा है।
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