Advertisement

Search Result : "Religion based reservation"

आईटी- बीपीओ सेक्टर में 7 लाख लोगों की नौकरियों पर खतरा, रिपोर्ट में हुआ खुलासा

आईटी- बीपीओ सेक्टर में 7 लाख लोगों की नौकरियों पर खतरा, रिपोर्ट में हुआ खुलासा

रिपोर्ट में बताया गया है कि ऑटोमेशन और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को बढ़ावा देने की वजह से कम कुशल श्रमिकों को अपनी नौकरी से हाथ धोना पड़ सकता है।
जाट आरक्षण पर पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने बरकरार रखी रोक, 3 सितम्बर को झज्जर में जाट रैली

जाट आरक्षण पर पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने बरकरार रखी रोक, 3 सितम्बर को झज्जर में जाट रैली

कोर्ट ने इस मामले में नेशनल बैकवर्ड कमीशन से भी अपनी रिपोर्ट देने को कहा है। कोर्ट ने 31 मार्च 2018 तक कमीशन को अपनी रिपोर्ट सौंपने को कहा है।
सीएम फडणवीस ने मराठा आरक्षण का मामला पिछड़ा वर्ग आयोग को भेजा

सीएम फडणवीस ने मराठा आरक्षण का मामला पिछड़ा वर्ग आयोग को भेजा

सीएम फडणवीस ने विधानसभा में कहा कि मराठा आरक्षण की मांग को बैकवर्ड क्लास कमिशन को रेफर कर दिया है, जो मराठाओं को आरक्षण देने के आधार और संभावनाओं का अध्ययन करेगा।
क्या हिंसक भीड़ का कोई धर्म होता है?

क्या हिंसक भीड़ का कोई धर्म होता है?

'आवारा भीड़ के खतरे' नामक शीर्षक के अपने निबंध में हिन्दी साहित्य जगत के मूर्धन्य निबंधकार हरिशंकर परसाई जी लिखते हैं, "दिशाहीन, बेकार, हताश, नकार वादी और विध्वंस वादी युवकों की यह भीड़ खतरनाक होती। इसका उपयोग खतरनाक विचारधारा वाले व्यक्ति या समूह कर सकते हैं। इसी भीड़ का उपयोग नेपोलियन, हिटलर और मुसोलिनी जैसे लोगों ने किया था।"
डीयू के 28 कालेजों में मिलेगा दिल्ली के छात्रों को 85 फीसदी आरक्षण

डीयू के 28 कालेजों में मिलेगा दिल्ली के छात्रों को 85 फीसदी आरक्षण

दिल्ली सरकार के अधीन आने वाले 28 कालेजों में दिल्ली के छात्रों के लिए 85 फीसदी सीटें आरक्षित होंगी। इन कालेज में 12 सौ फीसदी और 16 कालेज को दिल्ली सरकार फंड के तौर पर काफी हिस्सा देती है। यह प्रस्ताव दिल्ली विधानसभा के विशेष सत्र में गुरुवार को पारित कर दिया गया।
अगर हम 'झंडू बाम' की जात नहीं पूछते तो 'रूह अफजा' ने क्या बिगाड़ा है?

अगर हम 'झंडू बाम' की जात नहीं पूछते तो 'रूह अफजा' ने क्या बिगाड़ा है?

क्या हम हल्दीराम की भुजिया खाने से पहले यह छानबीन करेंगे कि उस कंपनी में हमारी जात-बिरादरी, धर्म के कितने लोग, किन-किन पदों पर हैं? क्या झंडुु बाम लगाने से पहले भी हम उसकी धर्म-जाति तय करते हैं? अगर ऐसा नहीं है तो फिर रूह अफजा ने क्या बिगाड़ा है। इसकी मिठास में नफरत की चासनी क्यों मिलाई जा रही है?
जस्टिस काटजू ने कहा- जाति आधारित आरक्षण भारत के लिए अभिशाप

जस्टिस काटजू ने कहा- जाति आधारित आरक्षण भारत के लिए अभिशाप

सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश जस्टिस मार्कण्डेय काटजू ने सोशल मीडिया साइट के माध्यम से कहा कि देश में सभी प्रकार के जाति आधारित आरक्षण बंद होने चाहिए। उन्होंने इसे देश के लिए एक अभिशाप बताया है।
Advertisement
Advertisement
Advertisement