देशभर में कई जगहों पर NIA की छापेमारी के बाद जम्मू-कश्मीर पुलिस ने हुर्रियत के कई अलगाववादी नेताओं को नजरबंद कर दिया है। गौरतलब है कि छापों के बाद कई अलगाववादियों के पाकिस्तान से फंड लेने के बात सामने आ रही है। इनके बाद पुलिस ने हुर्रियत के कई नेताओं को उनके घर पर ही नजरबंद कर दिया है।
महाराष्ट्र सरकार पर वादा खिलाफी का आरोप लगाने वाले किसानों ने मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से मुलाकात के बाद आज अपना आंदोलन खत्म कर दिया है। ये किसान महाराष्ट्र में किसानों की कर्ज माफी और फसलों के बेहतर दाम की मांग कर रहे थे।
जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर हाईवे पर आज आतंकियों ने सेना के काफिले पर हमला किया। हमले में सेना का 2 जवान शहीद हो गए जबकि 4 गंभीर रुप से जवान घायल हो गए। आज ही गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने सुरक्षा के मुद्दे पर सरकार के तीन साल के कामकाज का लेखाजोखा पेश किया।
राजस्थान हाईकोर्ट के जज महेश चंद्र शर्मा के मोर और मोरनी वाले बयान को लेकर सोशल मीडिया पर जमकर मजाक बनाया जा रहा है। जज ने गाय को राष्ट्रीय पशु घोषित करने के पक्ष में तर्क देते हुए कहा था कि मोर आजीवन ब्रह्मचारी रहा है।
उत्तर प्रदेश के रामपुर में लड़कियों के साथ सरेआम अश्लीलता का मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि बिहार के मुजफ्फरपुर का एक और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। इस वीडियो में कुछ लोग एक स्कूली छात्रा के साथ बदसलूकी कर रहे हैं।
सोशल मीडिया पर आये दिन छोटे बच्चों के कई अनोखे कारनामों से जुड़े हैरतअंगेज वीडियो देखने को मिलते हैं। ऐसा ही एक वीडियो इन दिनों सोशल मीडिया पर काफी ट्रेंड हो रहा है, जिसने सिर्फ डॉक्टरों को ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया को चौंका दिया है। इस वीडियो में पैदा होते ही एक बच्चा चलने की कोशिश कर रहा है।
केरल में यूथ कांग्रेस कार्यकर्ताओं के द्वारा पशुवध करने के मामले को राहुल गांधी ने गंभीरता से लिया है। राहुल गांधी ने इस घटना की निंदा की। इसके बाद कांग्रेस ने सरेआम पशुवध करने वाले अपने चार कार्यकर्ताओं को पार्टी से बाहर निकाल दिया है।
हिंसा की आग में पिछले कई दिनों से सुलग रहे सहारनपुर के शब्बीरपुर गांव में शुक्रवार को पहली बार खुशी का महौल देखने को मिला। इस खुशी का कारण कुछ और नहीं बल्कि एक दलित परिवार में दो बहनों की शादी को लेकर था। शादी की वजह से गांव में कई दिनों के बाद खुशी का माहौल दिखा।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवोज शरीफ को सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन और लाहौर हाईकोर्ट बार एसोसिएशन ने सात दिनों में सत्ता छोड़ने की चेतावनी दी है। वकीलों का कहना है यदि उन्होंने सात दिनों में सत्ता नहीं छोड़ी, तो वे उनके खिलाफ देशभर में आंदोलन करेंगे।