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Search Result : "story साहित्य"

उसने कहा था – सौ साल पुराना प्रेम

उसने कहा था – सौ साल पुराना प्रेम

चंद्रधर शर्मा ‘गुलेरी’ की कहानी ‘उसने कहा था’ सौ साल की हो गई है। यह सिर्फ प्रेम कहानी नहीं है, बल्कि मासूम प्रेम की अभिव्यक्ति है। उसने कहा था गुलेरी जी ने सन 1915 में लिखी थी। सौ साल बाद भी इस कहानी की न रुमानियत खत्म हुई न मासूमियत।
कहानी - तकाजा

कहानी - तकाजा

अब तक कुल इक्कीस पुस्तकें प्रकाशित। तेरह कहानी संग्रह, 3 उपन्यास, 3 नाटक और 2 वैचारिक लेखों का संग्रह। कुछ कहानियों का फ्रेंच, स्पैनिश, अंग्रेजी, जर्मन, तेलुगु, मलयालम, तमिल, गुजराती, उर्दू, नेपाली, मराठी, मगही आदि भाषाओं में अनुवाद। कुछ कहानियों के टीवी रूपांतरण टेलीविजन के विभिन्न चैनलों पर प्रसारित। नाटकों का आकाशवाणी से प्रसारण और विभिन्न संस्थाओं द्वारा विभिन्न शहरों में मंचन। राधाकृष्ण पुरस्कार, विजय वर्मा कथा सम्मान, बिहार सरकार राजभाषा सम्मान, भारतीय ज्ञानपीठ द्वारा सर्वश्रेष्ठ चयन के आधार पर युवा लेखक प्रकाशन सम्मान, बनारसी प्रसाद भोजपुरी सम्मान, झारखंड साहित्य सेवी सम्मान, स्वदेश स्मृति सम्मान, आनंद सागर स्मृति कथाक्रम सम्मान 2013 आदि।
जासूसी साहित्य के शहंशाह

जासूसी साहित्य के शहंशाह

कनॉट प्लेस स्थित ऑक्सफोर्ड बुकस्टोर ने पिछले बृहस्पतिवार की शाम लोकप्रिय हिंदी साहित्य और उसमें भी जासूसी कथाओं के बादशाह स्तंभ सुरेन्द्र मोहन पाठक के साथ एक अनौपचारिक बातचीत आयोजित की। हिंद युग्म प्रकाशन के शैलेश भारतवासी और नीला स्कार्फ और हालिया रिलीज मम्मा की डायरी से चर्चित लेखिका अनु सिंह चौधरी ने उनसे बात की और जाना साहित्य की इस विधा को।
कहानी - उदासी का कोना

कहानी - उदासी का कोना

पुरुषोत्तम अग्रवाल ने कई पुस्तकों का लेखन किया है, जिनमें ‘संस्कृति : वर्चस्व और प्रतिरोध, ‘तीसरा रुख’, ‘विचार का अनंत’, ‘शिवदान सिंह चौहान’, ‘कबीर : साखी और सबद’, ‘मजबूती का नाम महात्मा गांधी’ (गांधी शांति प्रतिष्ठान, नई दिल्ली के वार्षिक भाषण का पुस्तक स्वरूप) 'अकथ कहानी प्रेम की : कबीर की कविता और उनका समय' प्रमुख हैं। प्रो॰ अग्रवाल की पुस्तक 'अकथ कहानी प्रेम की : कबीर की कविता और उनका समय' बहुत चर्चित पुस्तक रही है। वह एक प्रखर चिंतक और आलोचक हैं। उनका यात्रा-वृत्तांत ‘हिंदी सराय : अस्त्राखान वाया येरेवान' प्रकाशित हुआ है।
42 साल कोमा के बाद अरुणा शानबाग का निधन

42 साल कोमा के बाद अरुणा शानबाग का निधन

करीब 42 सालों से जिंदा लाश की तरह केईएम अस्पताल के वॉर्ड नंबर 4 में भर्ती अरुणा शानबाग की मौत हो गई। तीन दिन पहले उन्हें निमोनिया के चलते आईसीयू में रखा गया था।
मप्र हिंदी साहित्य सम्मेलन पुरस्कार समारोह

मप्र हिंदी साहित्य सम्मेलन पुरस्कार समारोह

मध्यप्रदेश हिंदी साहित्य सम्मेलन के प्रतिष्ठित भवभूति अलंकरण एवं वागीश्वरी पुरस्कार समारोह का गरिमामय आयोजन इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मानव संग्रहालय के वीथि संकुल सभागार, भोपाल में विख्यात कवि, कथाकार फिल्मकार उदयप्रकाश की अध्यक्षता, वरिष्ठ साहित्यकार-शिक्षाविद प्रोफेसर रमेश दवे के मुख्य आतिथ्य में संपन्न हुआ।
व्यवस्था की विकलांगता ही चुनौतीः केदार

व्यवस्था की विकलांगता ही चुनौतीः केदार

जब वह मेरे दफ्तर मिलने के लिए आए तो अचानक ही लगा कि मेरा दफ्तर भी विकलांग व्यक्ति के लिए कितना असुविधाजनक है। वह हथेलियों में हवाई चप्पल पहने हुए पूरी सहजता और जबर्दस्त आत्मविश्वास के साथ दफ्तर में आ चुके थे। तकरीबन लपकते हुए वह कुर्सी की ओर बढ़े।
भजन और सूफियाना कलामों की गूंज

भजन और सूफियाना कलामों की गूंज

दिल्ली का बहुचर्चित सालाना भक्ति संगीत समारोह साहित्य कला परिषद और दिल्ली सरकार के कला, संस्कृति एवं भाषा विभाग की ओर से पेश किया जा रहा है।
साहित्य अकादेमी में मना विश्व पुस्तक दिवस

साहित्य अकादेमी में मना विश्व पुस्तक दिवस

किताबों की हमारे जीवन में उपस्थिति और उसके महत्व को रेखांकित करते हुए साहित्य अकादेमी ने ‘साहित्य मंच’ के अंतर्गत विश्व पुस्तक दिवस के अवसर पर एक विशिष्ट कार्यक्रम का आयोजन किया। कार्यक्रम में विभिन्न क्षेत्रों से जुड़े महत्त्वपूर्ण लोगों ने किताबों से अपने रिश्तों को श्रोताओं से साझा किया। कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रसार भारती के सीईओ श्री जवाहर सरकार ने की।
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